ITR For Freelancers: इनकम टैक्स रिटर्न भरने वालों के पास अब बस दो हफ्तों का समय है. लेट आईटीआई भरने वालों को जुर्माना देना पड़ेगा. जैसे-जैसे लास्ट डेट नजदीक आ रही है, वैसे-वैसे रिटर्न भरने वालों की संख्या में इजाफा हो रहा है. 


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इनके लिए सबसे आसान है आईटीआर भरना
सैलरीड लोगों को रिटर्न भरने में ज्यादा परेशानी नहीं होती है. वहीं, पिछले कुछ समय में ऐसे लोगों की संख्या में तेजी से इजाफा हुआ है, जो रेगुलर नौकरी करने के बजाय फ्रीलांसर या कंसल्टेंट के तौर पर काम करते हैं. कोरोना महामारी के बाद इस वर्क कल्चर का चलन भारत में तेजी से बढ़ा है. इन लोगों के लिए आईटीआर भरने की प्रक्रिया अलग होती है. 


अगर कोई व्यक्ति फ्रीलांसर या कंसल्टेंट हैं तो वे सैलरीड टैक्सपेयर की तरह आईटीआर-1 या आईटीआर-2 फॉर्म नहीं भर सकते हैं. ऐसे लोगों को 50,000 रुपये के स्टैंडर्ड डिडक्शन का फायदा नहीं मिलेगा, क्योंकि इनकी आय सैलरी के रूप में नहीं आती है. हालांकि, ये लोग अपने खर्च के मुताबिक कुछ डिडक्शन क्लेम कर सकते हैं.


इस टैक्स रिजीम को चुनें
आपको फ्रीलांस या कंसल्टेंट के तौर पर साल भर में जितनी आय प्राप्त हुई है, उसके मुताबिक आपका स्लैब और टैक्स रेट लागू होगा. आप सैलरीड लोगों की तरह हर साल टैक्स रिजीम नहीं चुन सकते हैं. मान लीजिए कि फाइनेंशियल ईयर 2022-23 यानी मौजूदा असेसमेंट ईयर के लिए ओल्ड टैक्स रिजीम डिफॉल्ट ऑप्शन है, लेकिन आप न्यू टैक्स रिजीम को भी चुन सकते हैं. अगर आप न्यू टैक्स रिजीम को चुनते हैं तो आप इसे बदल नहीं सकते. इस फाइनेंशियल ईयर से न्यू टैक्स रिजीम ही डिफॉल्ट होने वाला है.


जानें क्या है प्रीजम्पटिव टैक्सेशन स्कीम
फ्रीलांसर व कंसल्टेंट इनकम टैक्स एक्ट के तहत यह स्कीम चुन सकते हैं. इनकम टैक्स एक्ट के सेक्शन 44एडीए के तहत प्रीजम्पटिव स्कीम ऐसे प्रोफेशनल्स के लिए हैं, जिन्हें 2022-23 के दौरान 50 लाख रुपये से ज्यादा नहीं मिले हैं. अगले साल से यह मिलिट बढ़कर 75 लाख रुपये हो जाएगी. ये लोग कुल आय के 50 फीसदी को बिजनेस इनकम की तरह शो कर सकते हैं.  उसी के मुताबिक उनके टैक्स का कैलकुलेशन होगा.


अगर आय 50 लाख रुपये से ज्यादा है तो वे 44एडी के तहत प्रीजम्पटिव स्कीम का लाभ उठा सकते हैं, जिसमें इस समय प्राप्तियों की लिमिट 2 करोड़ रुपये है, जो अगली बार 3 करोड़ हो जाएगी. वहीं, अगर आय कमीशन, ब्रोकरेज या एजेंसी बिजनेस से है तो इसका लाभ नहीं मिलेगा.


फ्रीलांसर की डेडलाइन
इनके लिए भी इनकम टैक्स रिटर्न भरने की डेडलाइन 31 जुलाई 2023 है. वहीं, अगर कंसल्टेंट सेक्शन 44एबी के तहत ऑडिट के दायरे में आता है तब यह 31 अक्टूबर 2023 तक है. इस मामले में आपको 30 सितंबर 2023 तक टैक्स ऑडिट रिपोर्ट सबमिट करना होगा.


इस फॉर्म से भरना होगा आईटीआर
आपको आईटीआर-3 फॉर्म भरना होगा. वही, प्रीजम्पटिव स्कीम चुनने पर आईटीआर-4 फॉर्म भरना होगा. आय 50 लाख रुपये से ज्यादा है या लॉस को कैरी फॉरवर्ड करना है तो ऐसे में आईटीआर-3 फॉर्म ही भरना होगा.