Demat Account KYC: अगर आप भी शेयर बाजार, म्‍युचुअल फंड या कमोड‍िटी मार्केट में न‍िवेश करते हैं तो यह खबर आपके काम की है. करीब 1.3 करोड़ डीमैट अकाउंट को होल्‍ड पर रखा गया है. इसका सीधा मतलब यह हुआ क‍ि ज‍िनका भी अकाउंट होल्‍ड पर है, वे इसके जर‍िये क‍िसी प्रकार का ट्रांजेक्‍शन नहीं कर सकते. केवाईसी रज‍िस्‍ट्रेशन करने वाली संस्‍था केआरए (KRA) ने इस बारे में जानकारी दी है. केआरए की तरफ से बताया गया क‍ि सेबी के दायरे में आने वाले करीब 11 करोड़ निवेशकों में से 1.3 करोड़ खाते 'ऑन होल्ड' हैं. यानी अब ये न‍िवेशक ब‍िना केवाईसी के शेयर, म्यूचुअल फंड और कमोडिटी में लेन-देन नहीं कर सकेंगे.


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निवेश करने की अनुमति नहीं दी जाएगी


जानकारी के अनुसार 1.3 करोड़ खाते अलग-अलग कारण से सेबी के नियमों के अनुरूप नहीं हैं. पांच केआरए की तरफ से जारी प्रेस नोट बताया गया क‍ि ज‍िनकी केवाईसी सही तरीके से नहीं की गई है उन्हें शेयर, कमोडिटी और म्यूचुअल फंड में निवेश करने की अनुमति नहीं दी जाएगी. कई निवेशकों के केवाईसी में PAN और आधार कार्ड की सही जानकारी नहीं थी. इतना ही नहीं दोनों को एक-दूसरे से ल‍िंक भी नहीं क‍िया गया. ऐसा इसलिए हुआ क्योंकि पहले केवाईसी के लिए बिजली बिल, टेलीफोन बिल या बैंक स्टेटमेंट को स्वीकार किया जाता था. लेकिन अब सेबी इन दस्तावेजों को मंजूरी नहीं देता. इस कारण केवाईसी को रीक्‍लासीफाई करने की जरूरत पड़ी.


केवाईसी को तीन ह‍िस्‍सों में बांटा गया
1 अप्रैल से केवाईसी के नए नियम को लागू क‍िया गया है. नए न‍ियम के तहत, केवाईसी संस्था KRA ने सभी निवेशकों के केवाईसी को तीन ह‍िस्‍सों में बांटा है. इसमें पहला वैलिडेटेड (Validated), दूसरा रजिस्टर्ड (Registered) और तीसरा ऑन होल्ड (On Hold). तीनों ह‍िस्‍से इस आधार पर क‍िये गए हैं क‍ि निवेशक ने केवाईसी में अपना PAN, आधार, ईमेल और मोबाइल नंबर की जानकारी दी है या नहीं. ऐसे न‍िवेशक ज‍िनकी केवाईसी को वैल‍िडेट (Validated KYC) क‍िया गया है उन्हें कुछ करने की जरूरत नहीं है और वे अपने इनवेस्‍टमेंट को जारी रख सकते हैं.


पैसे न‍िकालने के ल‍िए केवाईसी अपडेट कराना होगा
इसके अलावा केवाईसी रजिस्टर्ड (Registered KYC) वाले भी अपना निवेश जारी रख सकते हैं. लेकिन यद‍ि वे किसी नए फंड हाउस में निवेश करते हैं या नया डीमैट अकाउंट खोलते हैं तो उन्हें फिर से केवाईसी (Re-KYC) कराना होगा. ऐसे लोग ज‍िन्‍होंने बिजली का बिल, टेलीफोन बिल या बैंक स्टेटमेंट के जर‍िये केवाईसी कराया था, उनके केवाईसी 'ऑन होल्ड' हो गए हैं. इसका सीधा सा मतलब है क‍ि वे अब और न‍िवेश नहीं कर पाएंगे. साथ ही वो अभी अपने पैसे भी नहीं निकाल पाएंगे. पैसे न‍िकालने से पहले भी उन्‍हें अपना केवाईसी अपडेट कराना जरूरी होगा.


7.9 करोड़ खाताधारकों के वैल‍िड केवाईसी
केआरए की र‍िलीज के अनुसार 11 करोड़ निवेशकों में से करीब 7.9 करोड़ (73%) के वैल‍िड केवाईसी हैं. इसके अलावा करीब 1.6 करोड़ निवेशकों के केवाईसी रजिस्टर्ड कैटेगरी में हैं, इनके पास निवेश करने का ल‍िम‍िटेड एक्‍सेस है. वहीं कुल निवेशकों में से 12% अपने डीमैट अकाउंट और एमएफ फोलियो को ऑपरेट नहीं कर सकते. 


कैसे करें केवाईसी
किसी भी केवाईसी रजिस्ट्रेशन एजेंसी (KRA) की वेबसाइट पर जाकर 'केवाईसी इंक्‍वायरी' में अपनी केवाईसी की स्थिति देख सकते हैं. इसके अलावा आप जरूरी कार्रवाई भी कर सकते हैं. इसके अलावा आप अपने ब्रोकर या म्यूचुअल फंड हाउस की वेबसाइट के जरिए भी केवाईसी अपडेट कर सकते हैं. अगर आप एक बार अपना केवाईसी अपडेट कर देते हैं तो यह आपके शेयरों, म्यूचुअल फंड और कमोडिटीज सहित सभी निवेशों पर लागू हो जाएगा. आपको हर उस ब्रोकर और फंड हाउस के लिए अलग से केवाईसी अपडेट कराने की जरूरत नहीं होगी.