नई दिल्ली: आम आदमी को जल्द ही बड़ी राहत मिल सकती है. दरअसल, पेट्रोल बढ़ती कीमतों के बीच अच्छी खबर यह है कि अब ये सस्ता हो सकता है. पेट्रोल और डीजल दोनों के दाम जल्द कम हो सकते हैं. इसके पीछे कारण है कि पिछले कुछ दिनों में क्रूड में नरमी देखने को मिली है. 7 महीने में पहली बार है जब पेट्रोल-डीजल के सस्ते होने की उम्मीद है. इससे पहले क्रूड में बनी तेजी से लगातार पेट्रोल-डीजल के दाम बढ़ रहे थे. पिछले 7 महीने में पेट्रोल 9 रुपए महंगा हो चुका है. लेकिन, अब क्रूड की कीमतों में गिरावट से इसके सस्ते होने की उम्मीद दिख रही है. एक रिपोर्ट के मुताबिक, जल्द ये राहत मिलने वाली है.


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क्रूड की तेजी पर ब्रेक
अंतरराष्ट्रीय बाजार में क्रूड की कीमतों में तेजी पर ब्रेक लगा है. कच्चे तेल में पिछले कुछ दिनों में गिरावट देखने को मिली है. सीनियर एनालिस्ट अजय केडिया के मुताबिक, क्रूड की कीमतें 62 डॉलर प्रति बैरल तक गिर सकती हैं. इसका सीधा असर पेट्रोल-डीजल की कीमतों पर भी दिखेगा. अगर क्रूड 62 डॉलर तक आता है तो पेट्रोल-डीजल की कीमतें 7 महीने पुराने स्तर पर पहुंच जाएंगी. पेट्रोल-डीजल की कीमतों में करीब 2 रुपए का फायदा होगा यानी ये 2 रुपए तक सस्ते हो सकते हैं.


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21 पैसे सस्ता हुआ पेट्रोल
पिछले दो दिनों में पेट्रोल की कीमतों में 21 पैसे और डीजल में 28 पैसे प्रति लीटर की कटौती हुई है. फिलहाल, दिल्ली में पेट्रोल का भाव 73.01 रुपए, कोलकाता में 75.70, मुंबई में 80.87 और चेन्नई में 75.73 रुपए प्रति लीटर है. वहीं, डीजल की बात करें तो दिल्ली में इसका भाव 63.62, कोलकाता में 66.29, मुंबई में 67.75 और चेन्नई में 67.09 रुपए प्रति लीटर पहुंच गया है.


क्यों आई क्रूड में गिरावट
दिसंबर के बाद से ब्रेंट क्रूड की कीमतों में 10 फीसदी की कमी आई है. अब क्रूड की कीमतें 80 डॉलर के पार पहुंचने का खतरा नहीं है. अजय केडिया के मुताबिक, अमेरिका ने कच्चे तेल का उत्पादन बढ़ाया है. साथ ही ग्लोबल मार्केट में क्रूड की डिमांड में कमी आई है. यही कारण है कि क्रूड की बढ़ती कीमतों पर ब्रेक लगा है. हालांकि, क्रूड का इतिहास रहा है कि इसमें उतार-चढ़ाव काफी तेजी से होता है. 


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ओपेक देशों में डिमांड कम
ओपेक देशों ने कच्चे तेल का उत्पादन दिसंबर के मुकाबले बढ़ाया है. वहीं, ग्लोबल डिमांड में कमी आई है. वैश्विक संकेतों से लगता है कि कच्चे तेल की कीमतें और नीचे आ सकती हैं. अजय केडिया के मुताबिक के मुताबिक, क्रूड जैसे-जैसे नीचे आएगा पेट्रोल-डीजल की कीमतें भी उतनी कम होंगी. पेट्रोल-डीजल को GST के दायरे में लाना चाहिए. इससे पेट्रोल-डीजल की कीमतों को नियंत्रण में रखा जा सकेगा.


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महंगाई पर भी लगेगी लगाम
पेट्रोल-डीजल सस्ता होने से महंगाई पर असर पड़ेगा. साथ ही क्रूड में गिरावट से महंगाई कम होने के आसार हैं. दरअसल, पेट्रोल-डीजल महंगा होने से ट्रांसपोर्टेशन कॉस्ट बढ़ जाती है, जिसकी वजह से कच्चा माल, सब्जियां, फल जैसे जरूरी सामान महंगे होते हैं. डीजल सस्ता होने से इनकी सबकी कीमतों को भी नियंत्रित किया जा सकेगा.