Delhi Government Schools: दिल्ली के सरकारी स्कूलों में हर साल घट रही `टॉपर्स` की संख्या
Sarkari School in Delhi: आम आदमी पार्टी की सरकार ने 2021-22 में स्कूल ऑफ एक्सीलेंस की शुरुआत की थी और फिलहाल दिल्ली में इस तरह के 38 स्कूल हैं. 2024 में 12वीं की परीक्षा में बैठने वाले 1,51,429 विद्यार्थियों में से 67 छात्र, 95 से 100 फीसदी नंबर लाने में सफल रहे.
Delhi Sarkeri School Report Card: दिल्ली के सरकारी स्कूलों में पिछले 5 साल से 'टॉपर्स' यानी 95 से 100 फीसदी मार्क्स लाने वाले स्टूडेंट्स की संख्या लगातार घटती जा रही है. साल 2020 में जहां 95 से 100 फीसदी नंबर लाने वाले स्टूडेंट्स की संख्या 442 थी वहीं 2024 में घटकर यह 67 रह गई. दिल्ली शिक्षा निदेशालय के मुताबिक, 100 नंबर लाने वाले स्टूडेंट्स की फेहरिस्त में दिल्ली सरकार के स्कूल ऑफ एक्सीलेंस के सिर्फ आठ स्टूडेंट शामिल हैं, जिनमें से सात ने पेंटिंग में और एक स्टूडेंट ने साइकोलॉजी में ये नंबर हासिल किए हैं.
दिल्ली में आम आदमी पार्टी (आप) सरकार ने 2021-22 में स्कूल ऑफ एक्सीलेंस की शुरुआत की थी और फिलहाल दिल्ली में इस तरह के 38 स्कूल हैं, जहां बच्चों की पढ़ाई के लिए उच्च स्तरीय सुविधाएं हैं. सूचना के अधिकार (आरटीआई) के तहत दायर एक आवेदन में यह जानकारी सामने आई है. दिल्ली शिक्षा निदेशालय द्वारा आरटीआई के जवाब में मुहैया कराई गई जानकारी के मुताबिक, इस साल 100 में से 100 नंबर लाने वाले स्टूडेंट्स की संख्या 153 रही, जिनमें से 33 विद्यार्थी ही मेन सब्जेक्ट में 100 नंबर ला सके जबकि 93 स्टूडेंट ने सिर्फ पेंटिंग में 100 नंबर प्राप्त किए.
आरटीआई से मिली जानकारी के मुताबिक, अकाउंट्स में आठ, बायोलॉजी में दो, केमिस्ट्री में आठ, कंप्यूटर साइंस में एक, अर्थशास्त्र में एक, इंजीनियरिंग ग्राफिक्स में एक, भूगोल में तीन, इंफॉर्मेटिक्स प्रैक्टिस में दो, ऑफिस प्रोसीजर एंड प्रैक्टिस में दो, गृह विज्ञान में सात, इतिहास में तीन, गणित में दो, राजनीति विज्ञान में तीन, पेंटिंग में 93, फिजिकल एजुकेशन में पांच, साइकोलॉजी में एक, रिटेल में एक, संस्कृत में दो, टेक्सटाइल डिजाइन में छह और उर्दू में एक बच्चे को 100 में से 100 नंबर प्राप्त हुए.
आरटीआई के मुताबिक, 2024 में 12वीं की परीक्षा में बैठने वाले 1,51,429 विद्यार्थियों में से 67 छात्र, 95 से 100 फीसदी नंबर लाने में सफल रहे जबकि 943 स्टूडेंट को 90 से 95 नंबर, 18,419 को 75 से 90 फीसदी, 61,492 छात्रों को 60 से 75 फीसदी, 57,904 स्टूडेंट्स को 50 से 60 फीसदी और 12,604 विद्यार्थियों को 50 फीसदी से कम नंबर प्राप्त हुए थे. 2023 में 12वीं की परीक्षा में बैठने वाले 2,27,020 स्टूडेंट्स में से 105 स्टूडेंट 95 से 100 फीसदी नंबर लाने में सफल रहे.
आरटीआई के मुताबिक, 2022 में 12वीं की परीक्षा देने वाले कुल 1,64,641 स्टूडेंट्स में से 161 छात्र 95 से 100 फीसदी नंबर लाने में सफल रहे.
इसी तरह 2021 में 12वीं क्लास के कुल 1,61,484 छात्रों में से 95 से ज्यादा नंबर लाने वाले छात्रों की संख्या 936 थी.
दिल्ली शिक्षा निदेशालय के मुताबिक, 2020 में कुल 1,11,413 बच्चे 12वीं की परीक्षा में बैठे जिसमें से 442 छात्र 95 से ज्यादा नंबर लाने में सफल रहे.
आरटीआई के मुताबिक, 2019 में 95 फीसदी से ज्यादा नंबर लाने वाले विद्यार्थियों की संख्या 49 रही थी. पेंटिंग जैसे सब्जेक्ट में ज्यादातर बच्चों के 100 नंबर आने के सवाल पर ‘ऑल इंडिया पेरेंट्स एसोसिएशन’ के अध्यक्ष एवं दिल्ली उच्च न्यायालय के वरिष्ठ अधिवक्ता अशोक अग्रवाल ने कहा, "पेंटिंग, गृह विज्ञान और 'फिजिकल एजुकेशन' जैसे विषय केवल कुल नंबर को बढ़ाने के लिए इस्तेमाल किए जाने वाले विषय हैं." उन्होंने दावा किया कि इनका कोई मतलब नहीं होता क्योंकि अगर आप कॉलेज में दाखिला लेने के लिए जाएंगे तो वहां पर इन नंबरों पर गौर नहीं किया जाएगा.
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इनपुट भाषा से