लीड्स: ऋषभ पंत के आईसीसी विश्व कप (World Cup 2019) टीम में शामिल नहीं किए जाने को लेकर काफी बहस हुई थी. अंतत: उन्हें चोटिल शिखर धवन के स्थान पर टीम में जगह मिली और पिछले दो मैचों में वे नंबर-4 पर खेल रहे हैं. बल्ले से प्रतिभाशाली यह खिलाड़ी मैदान पर फील्डिंग में कमजोर दिख रहा है. यही कारण है कि कप्तान विराट कोहली और महेंद्र सिंह धोनी को पंत को मैदान पर कहीं ऐसी जगह छुपाना पड़ रहा है, जहां गेंद कम आए. 

COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

टीम के फील्डिंग कोच आर. श्रीधर ने भी इंग्लैंड के खिलाफ खेले गए मैच में पंत द्वार बचाए गए पांच रनों का भी विशेष जिक्र किया, जिससे पता चला कि पंत से क्या उम्मीद फील्डिंग को लेकर की जा रही है. पंत मुख्यत: विकेटकीपर हैं, लेकिन धोनी के रहते हुए उन्हें फील्डिंग करनी पड़ रही है. 

यह भी पढ़ें: World Cup 2019: अब भी सेमीफाइनल खेल सकता है पाकिस्तान, करना होगा यह काम

बांग्लादेश के खिलाफ खेले गए मैच के बाद श्रीधर ने कहा, ‘उनके (पंत) साथ काफी काम करने की जरूरत है. सबसे पहले तो उन्हें अपनी थ्रो करने की तकनीक को सुधारना होगा और साथ ही यह मानसिकता लानी होगी कि वे मैदान पर फील्डिंग कर रहे हैं. लेकिन, इस समय हमारे पास अभी जो है, हमारी कोशिश उसे बेहतर तरीके से इस्तेमाल करने की है. इसलिए विराट कोहली और धोनी हमेशा उन्हें सही समय पर सही जगह लगाने के लिए सोचते रहते हैं ताकि उनके भीतर से सर्वश्रेष्ठ निकाला जा सके. पिछले मैच में उन्होंने पांच रन बचाए थे जो हमारे लिए बोनस था. उन्होंने एक कैच भी लिया था.’

यह भी पढ़ें: क्या मांजरेकर पर ट्वीट कर विश्व कप में ना खेल पाने की भड़ास निकाल रहे हैं रवींद्र जडेजा

ऋषभ पंत को मैच में बार-बार सीमा रेखा से वापस सर्किल में लाया जा रहा था. वे बाउंड्री पर अच्छी फील्डिंग नहीं पा रहे थे. वे सीमा पर कैच भी नहीं पकड़ सके जो कप्तान को अखरा. दिनेश कार्तिक जैसे खिलाड़ियों के रहते पंत का काम और मुश्किल हो गया है. कार्तिक विकेटकीपर होने के साथ-साथ अच्छे फील्डर भी हैं. धोनी भी अच्छी फील्डिंग कर लेते हैं. इस वजह से पंत के लिए फील्डिंग का मानक काफी ऊंचा हो गया है. 

श्रीधर ने कहा, ‘विकेटकीपर होते हुए भी कार्तिक अच्छे फील्डर हैं. आपने देखा होगा कि उन्होंने बैकवर्ड प्वाइंट पर कुछ अच्छे बचाव किए. यह हमारे लिए बड़ी बात है. पंत वो खिलाड़ी हैं जो फील्डिंग में सुधार कर रहे हैं. उन्हें मैदान पर चौकन्ना रहने के लिए थोड़ी और मेहनत करने की जरूरत है.’