Influenza H3N2: तेज बुखार और खांसी है तो हो जाएं सतर्क, भारत में तेजी से बढ़ रहा कोविड जैसा वायरस! IMA ने जारी की गाइडलाइन
Influenza H3N2: इन्फ्लूएंजा के मामलों में वृद्धि ने आम जनता के बीच डर पैदा कर दिया है. ऐसे में वह खुद को बचाने के लिए अंधाधुंध तरीके से एंटीबायोटिक दवाओं का सेवन कर रहे हैं.
Influenza H3N2: भारत के कई हिस्सों में इन्फ्लूएंजा (H3N2) में मामलों में तेजी से वृद्धि दर्ज की गई है, जो ज्यादातर लोगों को एक दर्दनाक तेज खांसी के साथ छोड़ देता है. यह कई दिनों तक रहता है. H3N2 के मामलों में वृद्धि ने आम जनता के बीच डर पैदा कर दिया है. ऐसे में वह खुद को बचाने के लिए अंधाधुंध तरीके से एंटीबायोटिक दवाओं का सेवन कर रहे हैं. वहीं, दूसरी तरफ इंडियन मेडिकल एसोसिएशन (IMA) ने बिना प्रिस्क्रिप्शन के एंटीबायोटिक दवाओं के इस्तेमाल के खिलाफ चेतावनी दी है.
न्यूज एजेंसी पीटीआई से बात में आईसीएमआर के एक वैज्ञानिक ने कहा कि इन्फ्लूएंजा की बीमारी में लोग एजिथ्रोमाइसिन और एमोक्सिक्लेव आदि एंटीबायोटिक लेना शुरू कर देते हैं. डॉक्टर के मुताबिक एक बार बेहतर महसूस होने पर इसका उपयोग बंद कर देना चाहिए. डॉक्टर के मुताबिक इन दवाओं का ज्यादा दुरुपयोग एंटीबायोटिक्स एमोक्सिसिलिन, नॉरफ्लोक्सासिन, ओफ्लोक्सासिन, ओफ़्लॉक्सासिन और लिवोफ़्लॉक्सासिन में किया जा रहा है. डायरिया और यूटीआई के इलाज के लिए भी लोग इन्हीं दवाइयों का इस्तेमाल कर रहे हैं.
इन्फ्लूएंजा (H3N2) क्यों है खतरनाक?
इंफ्लुएंजा H3N2 वायरस एक उत्तेजक और संक्रमणकारी वायरस है जो मानवों में इन्फ्लूएंजा बीमारी का कारण बनता है. इस वायरस के कुछ उपजाऊ लक्षण होते हैं जो शामिल होते हैं, जैसे- बुखार, सूखी खांसी, थकान, सिरदर्द, थ्रोट की खराश, जुकाम और नाक से पानी आना. इन लक्षणों के साथ, H3N2 वायरस महत्वपूर्ण स्वास्थ्य समस्याओं के लिए खतरनाक हो सकता है. यह वायरस बुढ़ापे वालों, बच्चों, गर्भवती महिलाओं और अस्थमा, डायबिटीज, दिल की बीमारी और कुछ अन्य विशेष समस्याओं वाले लोगों के लिए विशेष रूप से खतरनाक हो सकता है.
लंबी खांसी के घरेलू उपाय
गुड़: गुड़ का सेवन लंबे समय तक खांसी में लाभदायक होता है। गुड़ को गर्म पानी में मिलाकर पीने से भी लाभ मिलता है.
अदरक: अदरक में खास तरह की गुणवत्ता होती है, जो खांसी को ठीक करने में मदद करती है। अदरक का रस, शहद और नींबू का रस मिलाकर पीने से भी लाभ मिलता है.
शहद: शहद में एंटी-बैक्टीरियल गुण होते हैं जो खांसी को ठीक करने में मदद करते हैं। एक चम्मच शहद को गर्म पानी में मिलाकर पीने से लाभ मिलता है.
तुलसी: तुलसी में एंटीऑक्सीडेंट और एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण होते हैं जो खांसी को कम करने में मदद करते हैं। तुलसी की चाय पीने से भी लाभ मिलता है.
लहसुन: लहसुन में एंटी-बैक्टीरियल और एंटी-वायरल गुण होते हैं जो खांसी को कम करने में मदद करते हैं। लहसुन को चबाकर खाने से लाभ मिलता है.