नई दिल्ली: नमक के बिना कोई भी भोजन स्वादिष्ट नहीं होता. सीमित मात्रा में नमक हमारे लिए जरूरी है, लेकिन इसका अधिक सेवन करने पर हम कई गंभीर बीमारियों के शिकार बन जाते हैं. आपको ये भी जानना जरूरी है कि कौन सा नमक हमारे लिए बेहतर है? आमतौर पर नमक तीन तरह के होते हैं-सामान्य नमक, सेंधा नमक और काला नमक. 


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सामान्य नमक समंदर या खारे झील के पानी से तैयार किया जाता है. इसे मशीन में शुद्ध किया जाता. वहीं सेंधा नमक जमीन के नीचे एक चट्टान की तरह है. यह पूरी तरह से कुदरती है. इसके अलावा काला नमक भी सेंधा नमक जैसा ही होता है. तीनों नमक सोडियम क्लोराइड का बेहतरीन स्रोत हैं. इस खबर में जानिए साधा नमक और सेंधा नमक में कौन सा बेहतर होता है?


क्या होता है सेंधा नमक ? 
सेंधा नमक को सैंधव नमक या लाहौरी नमक भी कहा जाता है. सेंधा नमक क्रिस्टल के रूप में पाया जाने वाला एक खनिज है. यह सिंधु नदी के आस-पास के हिमालयी क्षेत्रों में चट्टानों के रूप में पाया जाता है. इस नमक का रंग सफेद, हल्का गुलाबी या बैगनी होता है. इसमें कैल्शियम, पोटेशियम और मैग्नीशियम की मात्रा सादे नमक की तुलना में काफी ज्यादा होती है. जिन लोगों को हार्ट और किडनी सें संबंधित परेशानियां होती हैं उनके लिए इस नमक का सेवन बहुत फायदेमंद साबित होता है.


क्या होता है साधारण नमक ?
साधारण नमक हमें समुद्र से प्राप्त होता है, जो समुद्र जल के वाष्पीकरण के द्वारा प्राप्त किया जाता है. इसका कलर सफेद होता है. आमतौर पर घरों में इसी नमक प्रयोग किया जाता है. इसका रासायनिक नाम सोडियम क्लोराइड होता है. इस नमक में सोडियम और आयोडीन भी पर्याप्त मात्रा में होती है. इस नमक का यदि सीमित मात्रा में सेवन किया जाए तो यह कई फायदे करता है, लेकिन इसका अधिक मात्रा में सेवन हमारी हड्डियों को सीधे तौर पर प्रभावित करता है. 


कौन सा नमक बेहतर?
जाने माने आयुर्वेद डॉक्टर अबरार मुल्तानी के अनुसार सामान्य नमक में 97 प्रतिशत सोडियम क्लोराइड होता है, जबकि रिफाइनिंग के वक्त तीन फीसदी अन्य चीजें मिलाई जाती है. इनमें आयोडीन प्रमुख है. आयोडीन इसलिए मिलाया जाता क्योंकि इससे ग्वायटर बीमारी नहीं होती. दूसरी तरफ सेंधा नमक है, जो धरती के नीचे मिलता है और यह दरदरा है. इसमें लगभग 85 फीसदी सोडियम क्लोराइड होता है, जबकि बाकी 15 फीसदी में अन्य खनिज जैसे आयरन, कॉपर, जिंक, आयोडीन, मैंगनीज, मैग्नेशियम, सेलेनियम सहित कम से कम 84 प्रकार के तत्व होते हैं. ये खनिज शरीर के लिए फायदेमंद होते हैं. सेंधा नमक में ऊपर से आयोडीन मिलाने की जरूरत नहीं होती, जबकि सामान्य नमक में मिलाना पड़ता है. सेंधा नमक कुदरती चीज है और इसमें ज्यादा छेड़-छाड़ नहीं किया जाता. इसलिए स्वास्थ्य के लिए यह बेहतर है. 


आयुर्वेद में सेंधा नमक का महत्व
आयुर्वेद डॉक्टर अबरार मुल्तानी के अनुसार, सेंधा नमक का आयुर्वेद में काफी महत्व है. क्योंकि इसमें घुलित कई खनिज पदार्थ पानी में भी मिले होते हैं. लेकिन आज पानी को रिफाइन कर पीने का चलन बढ़ा है, जिसके कारण पानी में मिले खनिज हमें प्राप्त नहीं होता है. यही वजह है कि आजकल सेंधा नमक का चलन बढ़ा है. लेकिन ये यह सादे नमक की अपेक्षाकृत महंगा होता है और दरदरा होता है, जिससे यह भोजन में पूरी तरह से मिक्स नहीं हो पाता.


आयुर्वेद डॉक्टर ने बताई सेंधा नमक की खासियत
आयुर्वेद डॉक्टर अबरार मुल्तानी कहते हैं कि कई तरह के खनिज होने के कारण सेंधा नमक कई बीमारियों को रोकने में कारगर है. यह शरीर के अंदर ही नहीं चेहरे और बाल को भी खूबसूरत बनाता है.  साधारण नमक के ज्यादा इस्तेमाल से हाई ब्लडप्रेशर की शिकायत बढ़ जाती है जबकि सेंधा नमक हाई ब्लड प्रेशर को कंट्रोल करता है. 


सेंधा नमक के फायदे


  1. सेंधा नमक इम्यूनिटी और स्टेमिना दोनों को बढ़ाता है. 

  2.  यह साइनस के इलाज में मददगार है.

  3.  सेंधा नमक का सही इस्तेमाल होने से वेट नहीं बढ़ता और वजन कम करने में भी काम करता है.

  4. जिन्हें नींद नहीं आती, उन्हें सेंधा नमक खाने की सलाह दी जाती है. 

  5. सेंधा नमक कब्ज की समस्या में भी फायदेमंद है


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