AIMIM Mumbai Chalo Rally: असदुद्दीन ओवैसी की पार्टी AIMIM के नेताओं ने आज एक नारा दिया.. मुंबई चलो और इस नारे के बाद महाराष्ट्र के अलग अलग शहरों से काफिला मुंबई की तरफ चल पड़ा. नारे लगाते AIMIM के नेता मुंबई की ओर चल पड़े. कोई बाइक पर.. तो कोई कार की छत पर सवार होकर चल दिया. वीडियो जारी किए जाने लगे. AIMIM नेता इम्तियाज जलील इस मार्च को लीड कर रहे थे. इधर सड़कों पर इम्तियाज जलील के वीडियो वायरल करवाए गए तो वहीं मुंबई में मौजूद वारिस पठान ने मोर्चा खोल रखा था. ओवैसी की पार्टी के नेता फ्रंटफुट पर खेल रहे थे.


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गुस्ताख ए रसूल के नाम पर क्या करने की है तैयारी?


AIMIM नेता नबी की शान में गुस्ताखी के खिलाफ मार्च कर रहे हैं. लेकिन इस विरोध में कब ओवैसी के नेता.. और खुद ओवैसी हद को पार कर गए इन्हें भी पता नहीं चला. देखिए गुस्ताख ए रसूल के नाम पर ये नेता किस एजेंडे पर बढ़ चले हैं.


AIMIM नेताओं के मुंबई मार्च के वायरल वीडियो में भड़काऊ नारे लगाए जा रहे हैं, जिसमें गैर मुस्लिमों को काटकर रखने की बातें कही जा ही हैं. उन नारों में कहा जा रहा है, 'सुन लो रसूल अल्लाह ने क्या फरमाया. फरमाया. क्या मतलब जो नबी के बारे में बात करे.. उसको काट के रख दो.. ये मेरा फरमान है. लब्बैक या रसूल अल्लाह.. लब्बैक या रसूल अल्लाह.'


बदजुबानी में हद पार कर गए असदुद्दीन ओवैसी!


लब्बैक या रसूल अल्लाह के नारे लगाते हुए ओवैसी की पार्टी के नेता मुंबई की तरफ बढ़ रहे हैं. मुद्दा नबी की शान में गुस्ताखी करने वालों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं होने का है. लेकिन इस विरोध की आड़ में मानो खुद ओवैसी भी सारी हदों को पार कर गए हैं.. ओवैसी गुस्ताख ए रसूल यानी नबी की शान में कथित तौर पर गुस्ताखी करने वालों को क्या- क्या कह कर पुकार रहे हैं, इसे जानकर आप हैरान रह जाएंगे. 


ओवैसी साहब.. क्या कह रहे हैं. एक सांसद की जुबान से ऐसी अभद्र भाषा शोभा देती है क्या. मतलब हद हो गई. पहले तो अभद्र भाषा और ऊपर से ये जस्टिफिकेशन. ऐसा कहकर ओवैसी क्या साबित करना चाहते हैं. किसी की भाषा से अगर किसी को ठेस पहुंची है तो कानून के तहत इसकी शिकायत की जाती है. बैरिस्टर ओवैसी खुद इस बात को अच्छी तरह जानते होंगे. कौन सी धाराएं लगेंगी ये भी जानते हैं. लेकिन विरोध में उतरकर ऐसी बातें करना कितना वाजिब है आप खुद तय कर लें.


किस बात पर भड़के हैं AIMIM नेता?


दरअसल AIMIM एक विवादित टिप्पणी को लेकर नाराज हैं. AIMIM बीजेपी नेता नीतीश राणे के इस भाषण से भी नाराज है. इसी के खिलाफ मुंबई चलो का नारा दिया गया. इस मार्च का आव्हान यूं तो महाराष्ट्र AIMIM के अध्यक्ष इम्तियाज जलील कर रहे हैं. लेकिन महाराष्ट्र के कई शहरों से MIM समर्थन और कार्यकर्ता मुंबई के लिए कूच कर गए हैं. ऐसे ही किसी मार्च का वीडियो AIMIM के ऑफिशियल X अकाउंट से ट्वीट किया गया है.


अल्लाह के नाम पर निकाले जा रहे इस जुलूस का मकसद क्या है. क्या AIMIM की इस रैली के पीछे सर तन से जुदा वाली सोच है? क्या AIMIM के कार्यकर्ता मुंबई की सड़कों पर मार काट मचाने जा रहे हैं? हिंदुस्तान में पहले भी नबी की शान में गुस्ताखी के नाम पर सर तन से जुदा वाली साजिश हो चुकी है. तो क्या एक बार फिर वही होने वाला है.. क्या इस बार इसे खुद असदुद्दीन ओवैसी लीड करेंगे. 


क्या सर से जुदा वाली सोच भारत में चलेगी?


इसमें कोई दो राय नहीं है कि अगर किसी ने किसी की धार्मिक आस्था चोट पहुंचाई हो तो कानूनी कार्रवाई होनी चाहिए. जांच होनी चाहिए. लेकिन नबी की शान में गुस्ताखी के नाम अभद्र टिप्पणी और सर तन से जुदा वाली सोच तो हिंदुस्तान में नहीं चलेगी. विवादित बयान के विरोध में AIMIM खुद विवादित बयान दे रही है. रैली में विवादित नारे लग रहे हैं. ऐसे में इसे HIPOCRACY यानी ढोंग रचना न कहा जाए तो और क्या कहा जाए.