Owaisi On High Caste Billionaires: AIMIM चीफ असदुद्दीन ओवैसी ने दावा किया है कि भारत में ऊंची-जाति के अरबपतियों की गिनती बढ़ती जा रही है. जबकि पिछड़ी-जाति के अरबपतियों की गिनती 20% से घट कर 10% से भी कम हो गई. 


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पीएम मोदी पर निशाना साधते हुए ओवैसी ने कहा कि खुद को गरीब का बेटा और पिछड़ी-जाति का बताने वाले प्रधानमंत्री के राज में भारत में ऊंची-जाति के अरबपतियों की गिनती बढ़ती जा रही है. ओवैसी ने कहा कि साल 2013 में भारत में करीब 80 प्रतिशत ऊंची जाति के अमीर थे. जबकि साल 2022 में यह आंकड़ा बढ़कर 90 प्रतिशत तक पहुंच गया. चलिए अब जानते हैं कि ओवैसी के बयान में कितनी सच्चाई है.



किस वर्ग में कितने अरबपति?


जातियों में पहले बात अनुसूचित जनजाति यानी एसटी की. आंकड़ों के मुताबिक इस वर्ग के करीब 13,268 लोगों की संपत्ति अरबों में है. जबकि अनुसूचित जाति में 26,134, ओबीसी (हिंदू) में 1,10,520 लोग अरबपति हैं. करीब 1,46,394 सवर्णों की संपत्ति अरब में है. 28,707 मुस्लिम और करीब 33,329 अन्य वर्ग के लोग अरबपति हैं. 


किसके पास कितना असेट?


अब समझते हैं कि किस वर्ग के पास कितना असेट है. आंकड़ों के मुताबिक, उच्च हिंदू जाति के पास 40.9 फीसदी का असेट है. जबकि एसटी वर्ग के पास 3.7 प्रतिशत, एससी के पास 7.3 फीसदी, हिंदू ओबीसी के पास 30.8 फीसदी और 8 परसेंट असेट मुस्लिमों के पास है.  




ओवैसी के बयान पर क्या बोली जेडीयू


हालांकि ओवैसी का यह बयान जेडीयू को रास नहीं आया. पार्टी के मुख्य प्रवक्ता और MLC नीरज कुमार ने ओवैसी के बयान पर कहा कि उनके बयान को प्रासंगिक इसलिए नहीं माना जा सकता क्योंकि देश में सामाजिक-आर्थिक गणना हुई नहीं. वह अगर इस मुद्दे को उठाना ही चाहते हैं तो उनको लालू प्रसाद से सवाल पूछना चाहिए. पिछड़ी जाति में पैदा हुए लालू के पास एक बीघा पुश्तैनी जमीन नहीं थी. लेकिन आज पटना जैसी जगह में 45 बीघा से अधिक जमीन है. मुजफ्फरपुर और भी अन्य शहरों में भी जमीन ले ली है. 


ये कोई नई बात नहीं-RJD


वहीं ओवैसी के बयान पर RJD के विधायक रणविजय साहू ने कहा, इस बात को लालू यादव और तेजस्वी यादव लगातार उठाते रहे हैं कि मोदी सरकार में कौन ऐसे लोग हैं जो अरबपति होते जा रहे हैं. गरीब गरीब होते जा रहा है और अमीर और अमीर हो रहा है. इसमें कोई नई बात नहीं है.