बेगूसराय : Barauni fertilizer factory: एक समय पर बिहार का गौरव रहे बरौनी खाद कारखाने में आखिरकार 22 साल बाद फिर से नीम कोटेड यूरिया का उत्पादन शुरू हो गया है. इस यूरिया प्लांट की शुरुआत 2018 में की गई थी. जिसको बनाने में 8387 करोड़ की लागत आई है. इस प्लांट को फिर से उत्पादन के लिए तैयार होने में लगभग 50 महीने का वक्त लग गया. ये वक्त कोरोना और अतिवृष्टि की वजह से लगा है. 


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

इन राज्यों तक पहुंचेगा बरौनी में उत्पादित खाद 
बिहार के अलावा झारखंड, पश्चिम बंगाल, उड़ीसा समेत देश के अन्य पूर्वोत्तर राज्यों में यहां से यूरिया भेजा जाएगा. प्रधानमंत्री ने 2018 में वन नेशन, वन फर्टिलाइजर के तहत पुनर्निर्माण के लिए यहां शिलान्यास किया था. अब जबकि यहां यूरिया का उत्पादन प्रारंभ हो गया है. यहां के आसपास के किसान इससे गदगद हैं. 


घाटे की वजह से 1999 में बंद हो गया था बरौनी खाद कारखाना
बेगूसराय में बरौनी खाद कारखाना से ना सिर्फ नीम कोटेड यूरिया का उत्पादन शुरू हो गया बल्कि बाजारों में भी यहां से उत्पादित यूरिया की सप्लाई शुरू हो गई है. जिससे बेगूसराय के लोगों में और खासकर किसानों में काफी खुशी है. इस खाद कारखाने का विधिवत उद्घाटन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से करवाने का प्रयास किया जा रहा है. दरअसल घाटे की वजह से 1999 में बरौनी खाद कारखाना को बंद कर दिया गया था. जिसमें इसी साल अक्टूबर माह से नीम कोटेड यूरिया का उत्पादन शुरू किया गया था लेकिन अब बाजारों में बेचने के लिए खाद को ट्रकों से भरकर भेजना शुरू कर दिया गया है. 


खाद कारखाने से लोगों को मिलेगा रोजगार 
इस खाद कारखाना से 3850 मैट्रिक टन रोजाना नीम कोटेड खाद का उत्पादन होगा.स्थानीय लोगों ने बताया कि बरौनी खाद कारखाना शुरू होने से किसानों को जहां खाद की किल्लत से निजात मिलेगी वहीं यहां के स्थानीय लोगों को रोजगार भी मिलेगा. साथ हीं किसानों को सस्ते दामों में खाद समय पर उपलब्ध हो जाएगा.  इस कारखाने में 400 स्थाई कर्मचारियों के अलावा 2 से 5 हजार तक लोगों को और रोजगार मिलेगा. 


केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने कही ये बात 
इसको लेकर बेगूसराय के सांसद सह केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने कहा कि खाद कारखाने से उत्पादन शुरू हो गया है. विधिवत उद्घाटन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से कराने का प्रयास किया जा रहा है. कारखाने के शुरू होने से पहली प्राथमिकता बिहार को मिलेगी. इसके साथ ही बिहार में भी बेगूसराय को प्राथमिकता में रखा जाएगा इसको लेकर वह सरकार और जिला प्रशासन के साथ बैठक करेंगे. ताकि बेगूसराय के किसानों को इसका लाभ मिले. 
(रिपोर्ट- राजीव कुमार)