Jehanabad News: बिहार सरकार प्रदेश में स्वास्थ्य सुविधाओं को सही करने के तमाम दावे करती है लेकिन जहानाबाद सदर अस्पताल से जो तस्वीरें सामने आईं, उन्होंने सरकार के दावों की पोल खोल दी है. सदर अस्पताल कुव्यवस्था से जूझ रहा है. भीषण गर्मी में इमरजेंसी और लू वार्ड में मरीज की भारी भीड़ देखी जा रही है. इसको लेकर अस्पताल प्रशासन द्वारा कोई ठोस इन्तजाम नहीं किए गए हैं. हद तब हो गया जब लू से पीड़ित मरीजों को बेड तक मुहैया नही कराया गया. मरीजों को जमीन पर लिटा दिया गया. ऐसे में यह कहना गलत नहीं होगा कि स्वास्थ्य विभाग अच्छी स्वास्थ्य व्यवस्था के तमाम दावे तो करती है, लेकिन हकीकत उससे बिल्कुल अलग है. जब जी न्यूज की टीम ने अस्पताल का रियलिटी चेक किया तो अस्पताल प्रबंधन की पोल खुल गई.


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भीषण गर्मी के मौसम में जहानाबाद में लू से पीड़ित मरीजों की संख्या दिन-प्रतिदिन बढ़ती जा रही है. इससे सदर अस्पताल में भी मरीजों की भारी भीड़ उमड़ पड़ी है. मरीजों की भीड़ को देखते हुए एक ही बेड पर एक से अधिक मरीजों को लिटाया गया. बेड फूल होने के बाद मरीजों को जमीन या कुर्सियां पर छोड़ दिया गया. इसका एक वीडियो भी वायरल हुआ है. वीडियो में साफ देखा जा सकता है कि किस तरह से यहां जमीन पर लिटाकर मरीजों का इलाज किया जा रहा है. मरीज के मरीजों ने बताया कि यहा बेड की व्यवस्था नहीं है. जिससे वह जमीन पर लेट कर अपना इलाज करा रहे हैं. 


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वहीं इमरजेंसी वार्ड में दो AC लगे हैं लेकिन एक ऐसी काम नहीं कर रहा है. अस्पताल में जनरेटर की सुविधा भी नहीं है. भीषण गर्मी में मरीज घुटन महसूस कर रहे हैं. मरीजों ने बताया कि इसके लिए अस्पताल में तैनात स्वास्थ्यकर्मियों समेत अस्पताल प्रबंधन तक से शिकायत भी की गई, लेकिन कोई सुनने वाला नहीं है. एक मरीज के परिजन ने बताया कि पिछले कुछ दिनों से जहानाबाद में भीषण गर्मी पड़ रही है. लोग ज्यादा बीमार पड़ रहे हैं. अस्पताल में बेड कम पड़ गए. जिससे लोगों को जमीन पर लिटा दिया गया है. डॉक्टर और एएनएम तो मौजूद हैं, लेकिन अस्पताल प्रशासन कुछ कर नहीं रहा हा. 


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इस संबंध में प्रभारी सीएस डॉ एके नंदा ने बताया कि गर्मी ज्यादा है, जिसकी वजह से डिहाइड्रेशन का केस ज्यादा बढ़ गए हैं. ऐसे में हाई फीवर और लूज मोशन के 3 मरीज आए हैं. जिनमें लू का असर देखने को मिल रहा है. मरीजों के बेड नहीं मिलने के सवाल पर उन्होंने कहा कि पेशेंट ज्यादा हैं और बेड कम, ऐसे में एक ही बेड पर डबल पेशेंट को रखकर इलाज किया जा रहा है. कुछ मरीज जमीन पर लेटे थे जिन्हें बेड मुहैया करा दिया गया है.