पटना: बिहार में नीतीश कुमार की सरकार ने विश्वास मत हासिल कर लिया है. सरकार के समर्थन में 129 वोट पड़े, जबकि विपक्ष ने वोटिंग से पहले ही वॉकआउट कर दिया था. विपक्ष ने भी नीतीश कुमार की सरकार को गिराने के लिए लंबा 'खेल' खेला था, लेकिन एनडीए की जीत ने इसे नाकाम कर दिया है. इसके बाद स्पीकर अवध बिहारी चौधरी ने अविश्वास प्रस्ताव के जरिए सरकार का समर्थन किया.


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एनडीए के 8 विधायकों के साथ सरकार गिराने का रचा था खेल
मीडिया सूत्रों की मानें तो आरजेडी ने एनडीए के 8 विधायकों को साथ लेकर नीतीश सरकार को गिराने का खेल रचा था. इसमें जेडीयू के 5 और बीजेपी के 3 विधायक शामिल थे, लेकिन इसकी भनक एनडीए ने पहले ही ले ली थी और सरकार को बचाने का ऑपरेशन शुरू हो गया. आरजेडी की तैयारी थी कि सत्तापक्ष के विधायकों को सदन में अनुपस्थित कर पहले स्पीकर की कुर्सी बचाई जाए. फिर स्पीकर के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव आया और विधायकों को स्पीकर से अलग गुट की मान्यता दिलवाई गई. इसके बाद फ्लोर टेस्ट में एनडीए सरकार को पटखनी दी गई.


एनडीए ने पलटा पासा दर्ज की अपनी जीत
आरजेडी ने नीतीश सरकार को गिराने के लिए सत्तापक्ष के 8 विधायकों के साथ प्लानिंग रची थी. जिसमें 5 जेडीयू और 3 बीजेपी विधायक थे. जेडीयू के 5 विधायकों में बीमा भारती, मनोज यादव, सुदर्शन, डॉ संजीव और दिलीप राय थे. वहीं, बीजेपी के विधायक रश्मि वर्मा, भागीरथी देवी और मिश्रीलाल यादव भी शामिल थे, लेकिन रविवार रात को एनडीए भांप गया कि उनके साथ 'खेला' होने वाला है. इस वजह से एनडीए ने सरकार बचाने का ऑपरेशन शुरू किया.


साजिश रचने वालों पर होगी कार्रवाई
उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी का कहना है कि आरजेडी के नेताओं ने हमारे विधायकों को अपने साथ जोड़ने का जो काम किया था ऐसे लोगों के चुनकर उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी. इस मामले में किसी को छोड़ा नहीं जाएगा.


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