Panchayati Raj Vibhag: पंचायती राज विभाग ने सभी ग्राम पंचायतों में सार्वजनिक पुस्तकालय स्थापित करने का निर्णय लिया है. इस पहल का उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि हर ग्राम पंचायत में एक पुस्तकालय हो, जिससे लोगों को पढ़ाई और जानकारी प्राप्त करने में मदद मिल सके. हाल ही में पंचायती राज मंत्री केदार प्रसाद गुप्ता द्वारा की गई समीक्षा बैठक में यह सामने आया कि राज्य के 12 जिलों में किसी भी ग्राम पंचायत में पुस्तकालय नहीं है. इन जिलों में बांका, बेगूसराय, बक्सर, दरभंगा, पूर्वी चंपारण, जमुई, जहानाबाद, कैमूर, कटिहार, किशनगंज, लखीसराय और मधेपुरा शामिल हैं.


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जानकारी के लिए बता दें कि इस स्थिति को देखते हुए, पंचायती राज मंत्री ने सभी उपविकास आयुक्तों और मुख्य कार्यपालक पदाधिकारियों को निर्देश दिया है कि वे इस दिशा में जल्दी काम करें और पुस्तकालयों की स्थापना को सुनिश्चित करें. इस योजना के तहत पंचायतों में प्राथमिक, माध्यमिक और वयस्क शिक्षा विभाग को ग्राम पंचायत स्तर पर पुस्तकालयों की स्थापना देखरेख और प्रबंधन की जिम्मेदारी दी गई है. पंचायती राज विभाग ने 15वें वित्त आयोग और छठे राज्य वित्त आयोग की अनुशंसा से प्राप्त राशि का उपयोग करके सार्वजनिक पुस्तकालयों की स्थापना का निर्णय लिया है. इसके तहत विभाग हर ग्राम पंचायत में फिजिकल और डिजिटल पुस्तकालय की स्थापना करेगा. यह विशेष रूप से उन बच्चों, युवाओं और महिलाओं के लिए उपयोगी होगा जो गांव में रहकर प्रतियोगिता परीक्षा की तैयारी कर रहे हैं.


साथ ही पुस्तकालयों में महिलाओं के सशक्तिकरण के लिए विशेष सामग्री और बुजुर्गों के लिए भी उपयोगी पाठ्य सामग्री उपलब्ध कराई जाएगी. इस योजना के पहले चरण में उन ग्राम पंचायतों में पुस्तकालय स्थापित किए जाएंगे जहां पंचायत सरकार भवन पहले से क्रियाशील है. इसके अलावा उन ग्राम पंचायतों में भी जहां पंचायत भवन, सामुदायिक भवन या कोई अन्य सार्वजनिक भवन उपलब्ध है, वहां पुस्तकालय की स्थापना की जाएगी. पंचायत कार्यालय में एक कमरे को पुस्तकालय के लिए चिह्नित किया जाएगा, ताकि सभी ग्रामवासियों को किताबें और अन्य अध्ययन सामग्री आसानी से मिल सके.


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