NEET पेपर लीक मामले में CBI ने किंगपिन राकेश रंजन उर्फ रॉकी नाम के व्यक्ति को पटना से गिरफ्तार किया है. CBI ने राकेश को पकड़ने के लिए काफी एडवांस टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल किया. राकेश रंजन की तलाश में पटना, कलकत्ता और पटना के आसपास के दो और ठिकानों पर रेड की गई थी. राकेश अपनी पत्नी के मेल आईडी से मेल करता था. उसी IP एड्रेस को ट्रेस करते हुए CBI उस तक पहुंची. आरोपी राकेश रंजन को कोर्ट में पेश कर सीबीआई ने 10 दिन की रिमांड पर ले लिया है.


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बताया जा रहा है कि राकेश रंजन उर्फ रॉकी नेपाल भागने की फिराक में था, लेकिन समय रहते सीबीआई ने उसे धर दबोचा. दरअसल, रॉकी ही वह कड़ी है, जिसके माध्यम से सीबीआई मुख्य सेटर तक हाथ डाल सकती है. मुख्य सेटर की भूमिका ही पेपर लीक की सबसे अहम कड़ी है. 


रॉकी मुख्य रूप से बिहार के नवादा का रहने वाला है और उसका नाम राकेश है. कुछ सालों से वह रांची में रेस्टोरेंट चलाने का काम करता है. चिंटू, मुकेश, मनीष और आशुतोष से पूछताछ में सीबीआई को राकेश के बारे में क्लू मिला था. 



बताया जा रहा है कि रॉकी ने ही पेपर लीक के बाद प्रश्नों को हल करके चिंटू के मोबाइल पर भेजा था. राकेश के बारे में और जानकारी चिंटू से निकाली जा रही है. चिंटू से ही संजीव मुखिया के बारे में भी जानकारी ली जा रही है, क्योंकि वह संजीव की भांजी का पति है. आशंका है कि संजीव मुखिया नेपाल भाग गया है. 


अन्य आरोपी मनीष और आशुतोष ने 35 स्टूडेंट्स को पेपर रटवाने का इंतजाम किया था. यह पता लगाने की कोशिश की जा रही है कि मनीष और आशुतोष ने ऐसा चिंटू के कहने पर किया था या फिर कोई और भी गाइड कर रहा था. 



मनीष और आशुतोष पर 4 और 5 जून को अभ्यर्थियों को पटना के प्ले लर्न स्कूल में ठहराने का भी आरोप है. इसी स्कूल में परीक्षार्थियों को लीक हुए प्रश्नों के उत्तर रटवाए गए थे.