Bihar Political News: बिहार में जातीय जनगणना कराकर महागठबंधन सरकार फूली नहीं समा रही है. नीतीश सरकार के इस कदम से एक बार फिर से मंडल-कमंडल वाली राजनीति याद आ रही है. हालांकि, इस बार बीजेपी भी एकदम सतर्क है. महागठबंधन को मात देने के लिए बीजेपी अपने कील-कांटों को दुरुस्त करने में जुटी है. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव के जातीय किले को भेदने के लिए बीजेपी ने भी जातिगत समीकरणों को सेट करना शुरू कर दिया है. बीजेपी ने बिहार में मुख्य प्रवक्ता और मीडिया कार्डिनेट की भूमिका में दो दिग्गज नेताओं को नियुक्त किया है. इस तरह से सम्राट चौधरी की टीम को और मजबूत करने का प्रयास किया गया है.


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पूर्व मंत्री एवं पार्टी में अनुसूचित समुदाय के एमएलसी जनक राम को पार्टी ने मुख्य प्रवक्ता की जिम्मेदारी दी है. पूर्व विधायक मनोज शर्मा को मीडिया विभाग का प्रभारी बनाया गया है. वहीं, दानिश इकबाल को मीडिया विभाग का संयोजक बनाया गया है. पार्टी के प्रदेश मुख्यालय प्रभारी अरविंद शर्मा ने पत्र जारी करके इनकी नियुक्ति की है. 


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बता दें कि जनक राम के जरिए बीजेपी ने दलित कार्ड खेला है, जबकि दानिश इकबाल के सहारे अल्पसंख्यक समाज को साधने की कोशिश की गई है. पूर्व विधायक मनोज शर्मा के जरिए सवर्ण वोटरों को भी अपने साथ बनाए रखने वाला दांव खेला गया है. बता दें कि हाल ही में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार द्वारा पूर्व सीएम जीतन राम मांझी का अपमान करने से माहौल गरमाया हुआ है. ऐसे वक्त में बीजेपी की ओर से दलित नेता का कद बढ़ाना, जेडीयू के लिए हानिकारक साबित हो सकता है.