Bihar News: प्रदेश में बढ़ते अपराध को देखते हुए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार एक्शन में आ गए हैं. उन्होंने जेल डीआईजी शिवेंद्र प्रियदर्शी को नौकरी से निकाल दिया है. हालांकि, जेल डीआईजी पर ये कार्रवाई भ्रष्टाचार के मामले में की गई है. उनके पास करोड़ों रुपए की अवैध कमाई होने की भी पुष्टि हुई है. इस संबंध में अधिसूचना भी जारी कर दी गई है. मुख्यमंत्री की इस कार्रवाई को काफी बड़ी मानी जा रही है. भ्रष्टाचार मामले में जेल डीआईजी शिवेंद्र प्रियदर्शी पर इस तरह की कार्रवाई होने से अन्य करप्ट अधिकारियों के कान खड़े हो गए हैं. अब उनकी नौकरी पर खतरा मंडराने लगा है.


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बता दें कि विशेष सतर्कता इकाई (SVU) ने साल 2017 में आय से अधिक संपत्ति मामले में शिवेंद्र प्रियदर्शी के ठिकानों पर छापा मारा था. जिसमे उनके घर से भारी रकम बरामद की गई थी. उनके खिलाफ आरोप सही पाए गए, जिसके बाद बिहार लोक सेवा आयोग की सलाह के बाद उन्हें सेवा से बर्खास्त कर दिया गया. नीतीश कैबिनेट ने शिवेंद्र प्रियदर्शी की बर्खास्तगी पर अपनी मुहर लगा दी. इस मामले में गृह विभाग ने सात पेज की अधिसूचना जारी की है. 


अधिसूचना के मुताबिक, एसवीयू ने 5 मई 2017 को जेल डीआईजी शिवेंद्र प्रियदर्शी के आवासीय परिसरों पर रेड की और उनकी आय के ज्ञात स्रोत से अधिक संपत्ति और निवेश का पता लगाया था. एसवीयू को भारतीय स्टेट बैंक में 14 लाख रुपये की सावधि जमा के अलावा 17 खातों की भी जानकारी मिली थी. एसवीयू की अधिकारियों ने पटना में लश काउंटी और वृंदावन अपार्टमेंट में स्थित उनके फ्लैटों पर छापेमारी की थी, जबकि विभिन्न मदों में उनका खर्च 39.79 लाख रुपये था. उस प्रकार उनकी संभावित बचत 61.47 लाख रुपये थी. 


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अधिसूचना का अनुसार, डीआईजी जेल ने एलआईसी, आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल और बजाज आलियांज जैसी बीमा पॉलिसी में तीस लाख रुपये का निवेश किया. svu को 1.6 लाख रुपये नकद, एक लॉकर, चार पहिया वाहन टाटा सफारी और स्विफ्ट डिजायर, छह लाख के आभूषण, जय प्रकाश नगर में एक घर के अलावा फ्लैट नंबर भी मिला था. एसवीयू ने जब छापा मारा उसके अगले ही दिन शिवेंद्र प्रियदर्शी के शादी की सालगिरह थी. 


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बता दें कि शिवेंद्र प्रियदर्शी मूल रूप से झारखंड के हजारीबाग के रहने वाले हैं. बिहार लोक सेवा आयोग की परीक्षा उत्तीर्ण करने के बाद 2014 में उन्हें डीआईजी के रूप में पदोन्नति मिली. इससे पहले वे बेऊर, सासाराम, भागलपुर और सिवान में तैनात थे.