कोरोना से बढ़ते खतरों के बीच मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को सताने लगा डर, मोदी सरकार ने कर दी यह मांग
बिहार में कोरोना से बढ़ते खतरों के बीच मुख्यमंत्री नीतीश कुमार चिंतित हो गए हैं. उन्होंने शुक्रवार को केंद्र की मोदी सरकार से कोविड टीकों का नया स्टाॅक उपलब्ध कराने का अनरोध किया है.
पटना : बिहार में कोरोना से बढ़ते खतरों के बीच मुख्यमंत्री नीतीश कुमार चिंतित हो गए हैं. उन्होंने शुक्रवार को केंद्र की मोदी सरकार से कोविड टीकों का नया स्टाॅक उपलब्ध कराने का अनरोध किया है. नीतीश कुमार ने कोरोना को लेकर पूछे गए सवाल के जवाब में कहा, साल 2020 में कोरोना के शुरू होने से लेकर आजतक की दैनिक रिपोर्ट मेरे पास है. पूरे तीन साल की रिपोर्ट है मेरे पास. नीतीश कुमार ने बताया कि कोरोना की डेली रिपोर्ट उनके पास आती है. पूरे देश में जितनी जांच हो रही है, उसका एक तिहाई बिहार में हो रही है.
नीतीश कुमार ने कहा, देश में हर 10 लाख की जनसंख्या पर औसतन 6 लाख जांच की जा रही है लेकिन बिहार में यह आंकड़ा 8 लाख से अधिक है. उन्होंने यह भी कहा कि कोरोना के मामले बढ़ें या घटें, जांच निरंतर होती रहती है. मुख्यमंत्री ने बताया कि आज भी कोविड टीकाकरण कराया जा रहा है, लेकिन अब राज्य में वैक्सीन के स्टाॅक खत्म हो गए हैं और इस बारे में भारत सरकार से नया स्टाॅक उपलब्ध कराने का अनुरोध किया गया है. उन्होंने यह भी कहा कि बिहार में कोराना से प्रारंभ से ही लोग सतर्क हैं फिर भी पटना समेत कुछ जिलों में कोरोना के कुछ मामले सामने आए हैं.
केंद्रीय मंत्री पशुपति कुमार पारस के बिहार हिंसा पर दिए गए बयान को लेकर सीएम नीतीश कुमार ने कहा कि उनलोगों से हमें कोई मतलब नहीं है. बिहार के लोगों में आपस में कोई विवाद नहीं है. इसको लेकर हमने शुरू से काम किया है. एक दो जगहों पर आपस में झगड़ा हुआ तो तुरंत काबू पा लिया गया. यहां हम एक एक चीज पर ध्यान देते रहे हैं. बिहार में यह सब नहीं होता था. आज जो कुछ भी हुआ है, उसकी जांच की जा रही है.
सीएम नीतीश कुमार ने केंद्रीय मंत्री आश्विनी चैबे के बेटे अरिजीत शाश्वत के बारे में बात करते हुए कहा, 2018 में एक केंद्रीय मंत्री के बेटे को भी यहां गिरफ्तार किया गया था. उन्होंने कहा कि हम किसी को भी नहीं छोड़ते हैं. आजकल कुछ लोग ऐसे ही कुछ कुछ बोलते रहते हैं.