Article 370 Verdict: जम्मू कश्मीर से अनुच्छेद 370 को निरस्त करने को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर सुप्रीम कोर्ट ने आज यानी सोमवार (10 दिसंबर) को अपना फैसला सुना दिया है. चीफ जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ ने कहा कि जब राजा हरि सिंह ने भारत के साथ विलय समझौते पर दस्तखत किए थे, तभी जम्म-कश्मीर की संप्रभुता खत्म हो गई. वह भारत के तहत हो गया. चीफ जस्टिस ने साफ कहा कि जम्मू-कश्मीर भारत का अभिन्न अंग है. भारत का संविधान जम्मू-कश्मीर के संविधान से ऊंचा है. अनुच्छेद 370 एक अस्थायी व्यवस्था है. 


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धारा 370 एक अस्थायी व्यवस्था थी- सीजेआई


चीफ जस्टिस ने कहा कि युद्ध के कारण जम्मू-कश्मीर को अनुच्छेद 370 एक अस्थायी व्यवस्था मिली थी. यह एक अंतरिम व्यवस्था थी. सीजेआई ने कहा कि अनुच्छेद 370(3) के तहत राष्ट्रपति को यह अधिसूचना जारी करने की शक्ति है कि अनुच्छेद 370 का अस्तित्व समाप्त हो जाता है और जम्मू-कश्मीर संविधान सभा के भंग होने के बाद भी अनुच्छेद 370 अस्तित्व में रहेगा. चीफ जस्टिस ने कहा कि संविधान सभा की सिफारिश राष्ट्रपति के लिए बाध्यकारी नहीं थी. अनुच्छेद 370 को बेअसर कर नई व्यवस्था से जम्मू-कश्मीर को बाकी भारत के साथ जोड़ने की प्रक्रिया मजबूत हुई.


30 सितंबर 2024 तक चुनाव कराने का आदेश


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चीफ जस्टिस ने कहा कि राष्ट्रपति के लिए यह जरूरी नहीं था कि वह जम्मू-कश्मीर की संविधान सभा की सिफारिश के बाद ही 370 पर कोई आदेश जारी करें. सीजेआई ने कहा कि अनुच्छेद 370 को बेअसर कर नई व्यवस्था से जम्मू-कश्मीर को बाकी भारत के साथ जोड़ने की प्रक्रिया मजबूत हुई है. सुप्रीम कोर्ट ने इस दौरान केंद्र सरकार को जम्मू-कश्मीर में जल्द से जल्द चुनाव कराने का आदेश दिया. उन्होंने कहा कि जम्मू-कश्मीर में जल्द चुनाव के लिए कदम उठाए जाएं. कोर्ट ने केंद्र सरकार को आदेश दिया कि जम्मू कश्मीर में 30 सितंबर 2024 तक विधानसभा चुनाव संपन्न कराएं.