Pitru Paksh: पितरों के मोक्ष का पक्ष पितृ पक्ष 29 सितंबर से शुरू होनेवाला है. इन 15 दिनों में लोग अपने पितरों की आत्मा की शांति के लिए पिंडदान और तर्पण करते हैं. हालांकि इस दौरान किसी भी शुभ और मांगलिक कार्य को करने की मनाही होती है. साथ ही नए कार्यों की शुरुआत के साथ नई चीजों की खरीद पर भी रोक होता है. 


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ऐसे में जिस जातक की कुंडली में पितृदोष है उनके लिए यह पक्ष सबसे बेहतर माना जाता है. इस दौरान कुछ उपायों को करके पितृदोष से मुक्ति पाई जा सकती है. पितर अगर खुश हो तो व्यक्ति का जीवन सुख, समृद्धि और यश से भर जाता है. घर में शांति का माहौल होता है. ऐसे में पितरों को प्रसन्न रखने के लिए इस दौरान पितृ कवच का पाठ करना चाहिए. 


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बताया जाता है कि पितृ कवच के पाठ से पितर बेहद प्रसन्न होते हैं. इससे आपके जीवन में आ रही बाधाएं समाप्त होती हैं और आपको हर क्षेत्र में सफलता मिलती है. ऐसे में सभी परिवार के सदस्यों की मौजुदगी में इस कवच का पाठ करना चाहिए. 


वैसे जो भी लोग पितृदोष से परेशान हैं वह इस पाठ को  हमेशा पढ़ सकते हैं. इसके जरिए पितरों से आशीर्वाद प्राप्त कर सकते हैं. श्राद्ध के दिनों में अमावस्या या पूर्णिमा की शाम को तेल का दीपक जलाकर इस पाठ को करने से हर तरह के संकट से मुक्ति मिलती है और पितृ दोष मिटता है. इसके साथ ही जातक के जीवन में और परिवार में शांति का वातावरण बनता है. 


ऐसे में अगर आप भी पितृ दोष से पीड़ित हैं तो रोजाना स्नान-ध्यान आदि करने के बाद साफ वस्त्र पहनकर अपना मुख दक्षिण दिशा में करके बैठ जाएं. तेल का एक दीपक जलाएं और इसके पहले पितरों को अर्घ्य जरूर दे दें और इस अर्घ्य के जल में काले तिल जरूर डालें और फिर पितृ कवच और पितृ स्त्रोत का पाठ करें. आपको इसके चमत्कारिक लाभ मिलेंगे.