Bawaal: भारत में इजराइल के राजदूत नेऑर गिलोन ने अमेजन प्राइम पर रिलीज हुई फिल्म “बवाल” में यहूदियों के नरसंहार (हॉलोकास्ट) को “मामूली बताने” पर चिंता जाहिर की है. वरुण धवन अभिनीत इस फिल्म में वैवाहिक कलह की एक कहानी बताने के लिए यहूदियों के नरसंहार का जिक्र किया गया है, जिसको लेकर विवाद छिड़ गया है.


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इस सप्ताह की शुरुआत में एक प्रमुख यहूदी समूह ने फिल्म की आलोचना करते हुए ओटीटी प्लेटफॉर्म से इसे हटाने की अपील की. भारत में इजराइल के दूतावास ने शुक्रवार को एक बयान जारी किया, जिसमें कहा गया है कि फिल्म में “यहूदियों के नरसंहार को मामूली बताने से वह आहत हुआ है.” बवाल का निर्देशन “दंगल” फिल्म के निर्देशक नितेश तिवारी ने किया है. 


गिलोन ने ट्विटर पर लिखा, “मैंने फिल्म बवाल नहीं देखी है, लेकिन मैंने जो पढ़ा है, उसके आधार पर मुझे लगता है कि फिल्म में खराब शब्दों और प्रतीकों का इस्तेमाल किया गया है. यहूदियों के नरसंहार को मामूली बताए जाने से सबको आहत होना चाहिए.” 


उन्होंने लिखा, “जो लोग यहूदियों के नरसंहार की भयावहता के बारे में नहीं जानते, मैं उनसे अनुरोध करता हूं कि वे इस बारे में जानें. फिल्म में वरुण धवन हाई स्कूल में इतिहास के शिक्षक अजय दीक्षित की भूमिका में हैं तथा जान्हवी कपूर उनकी पत्नी निशा का किरदार निभा रही हैं. वे यूरोप की यात्रा पर जाते हैं जहां वे द्वितीय विश्व युद्ध से जुड़े अहम स्थलों का दौरा करते हैं जिनमें ऑशविट्ज और एम्स्टर्डम में ऐनी फ्रैंक का घर शामिल है. फिल्म 21 जुलाई को रिलीज हुई थी.


होलोकॉस्ट के पीड़ितों की स्मृति को समर्पित साइमन विसेन्थल सेंटर (एसडब्ल्यूसी) ने मंगलवार को एक बयान जारी कर फिल्म की आलाचोना की. संगठन ने कहा कि फिल्म में कुछ दृश्य दिखाए गए हैं, जिनमें ऑशवित्ज में अभिनेता और अभिनेत्री एक गैस चैंबर में घुसते हैं और घुटन महसूस करते हुए दिखते हैं.” उल्लेखनीय है कि ऑशवित्ज द्वितीय विश्वयुद्ध के दौरान नाजी जर्मनी का एक कैदखाना था, जहां करीब 10 लाख यहूदियों को मार डाला गया था. एसडब्ल्यूडी के एसोसिएट डीन और ग्लोबल सोशल एक्शन के डायरेक्टर रब्बी अब्राहम कूपर ने कहा था, “फिल्म में हिटलर को लालची कहा गया है, जिसमें मुख्य नायक अपनी पत्नी से कह रहा है: 'हम सब कुछ हद तक हिटलर की तरह हैं, है ना?”


(एजेंसी इनपुट के साथ)