नई दिल्ली: पिछले 24 घंटे में दिल्ली में 3,788 लोगों में कोविड-19 की पुष्टि होने के साथ ही शहर में कोरोना वायरस (coronavirus) से संक्रमित मरीजों की संख्या 70,000 के आंकड़े को पार कर गई है. शहर में इस संक्रमण से अब तक 2,365 लोग की मौत हुई है. अब दिल्ली इस वायरस से बुरी तरह प्रभावित मुंबई से आगे निकल गई है. मुंबई में मंगलवार तक कोविड-19 संक्रमण के कुल मामले 68,410 थे. 


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कोरोना संक्रमण के मामले में दिल्ली दुनिया के 8 देशों से भी आगे निगल गई है. दिल्ली ने स्वीडन (62,324 केस), बेल्जियम (60,898) , बेलारूस (59,945), मिस्त्र (58,141), इक्वाडोर (51,643), नीदरलैंड (50,012), इंडोनेशिया (49,009), अर्जेंटीना (47,216), यूएई (46,133) और सिंगापुर (42,623) को भी पीछे छोड़ दिया है. 


दिल्ली सरकार ने कोविड-19 योजना में बदलाव किया
दिल्ली में कोरोना से हालात बेकाबू होते जा रहे हैं. केजरीवाल सरकार ने अपनी कोविड-19 योजना में काफी बदलाव किए हैं, जिनमें छह जुलाई तक घर-घर जाकर सभी की जांच पूरी करना, ज्यादा घनी आबादी वाले क्षेत्र के संक्रमित व्यक्ति को देखभाल केन्द्र में भर्ती कराना, कंटेनमेंट जोन में सीसीटीवी और ड्रोन की मदद से लोगों की आवाजाही पर नजर रखना आदि शामिल है.


इस संशोधित योजना के आठ बिन्दुओं में से एक है, अगर किसी बेहद संदिग्ध व्यक्ति की रैपिड एंटीजन टेस्ट (आरएटी) रिपोर्ट नेगेटिव आती है तो गोल्ड स्टैंडर्ड आरटी-पीसीआर जांच करा कर उसकी पुष्टि की जानी चाहिए. केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह द्वारा गठित उच्चस्तरीय समिति ने रविवार को अपनी रिपोर्ट में सलाह दी थी कि दिल्ली में कोविड-19 मरीजों के संपर्क में आए सभी लोगों को आइसोलेशन में रखा जाए, सभी कंटेनमेंट जोन का परिसीमन किया जाए ताकि राष्ट्रीय राजधानी में कोरोना वायरस संक्रमण को फैलने से रोका जा सके. 


दिल्ली में 266 कंटेनमेंट जोन
संशोधित योजना के अनुसार, स्वास्थ्य मंत्रालय के दिशा-निर्देशों के तहत अति सघन आबादी वाले क्षेत्रों के कोविड-19 मरीज या क्लस्टर मामलों को कोविड देखभाल केन्द्र भेजा जाएगा. कंटेनमेंट जोन का सीमा निर्धारण 26 जून तक कर लिया जाएगा. संशोधित योजना के अनुसार, कंटेनमेंट जोन में घर-घर जाकर जांच 30 जून तक, जबकि बाकि दिल्ली में छह जुलाई तक पूरा कर लिया जाएगा. फिल्हाल, दिल्ली में 266 कंटेनमेंट जोन हैं.


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