Delhi: करंट से मौत पर किया था लापरवाही मानने से इनकार, हाई कोर्ट ने कहा- पहले 10 लाख दो; बात दिल छू गई
Delhi High court to BSES: हाई कोर्ट ने फैसला सुनाते हुए कोर्ट ने ये भी कहा कि अगर अनुग्रह राशि देने की बात नहीं मानी गई तो याचिकाकर्ता आपसे उस रकम पर सालाना 6 प्रतिशत की दर से ब्याज पाने की हकदार होंगी.
Delhi BSES compensation case: दिल्ली हाई कोर्ट (Delhi High Court) ने राष्ट्रीय राजधानी में बिजली सप्लाई करने वाली कंपनी बीएसईएस (BSES ) को करंट लगने से हुई मौत के मामले में 10 लाख रुपए देने का फैसला सुनाया है. मामला 2017 का है जब दिल्ली पुलिस के एक सब इंस्पेक्टर (SI) की करंट लगने से मौत हो गई थी. उनकी पत्नी को तीन महीने में 10 लाख की अनुग्रह राशि देने को कहा गया है. फैसला सुनाने समय जज ने ये भी कहा- 'ये फैसला उन्होंने पति की मौत से पीड़ित को पहुंचे कष्ट को कम करने के मकसद से संवेदना दिखा रहा है, हमनें अपने फैसले में यह स्थापित नहीं किया है कि BSES इस हादसे के लिए जिम्मेदार है या नहीं.
कोर्ट ने ये भी कहा कि अगर अनुग्रह राशि देने की बात नहीं मानी गई तो याचिकाकर्ता आपसे उस रकम पर सालाना 6 प्रतिशत की दर से ब्याज पाने की हकदार होंगी.
सिविल कोर्ट जाने की छूट
जज साहब ने इसी मामले पर पीड़िता को सिविल कोर्ट में जाने की छूट भी दी है. जस्टिस पुरुषेंद्र कुमार कौरव ने जजमेंट में कहा, 'याचिकाकर्ता को पहले दिए गए लाभों को देखते हुए ये कोर्ट याचिकाकर्ता को BSES से 10 लाख रुपये की अनुग्रह राशि दिलाना उचित समझती है. इस आदेश को सकारात्मक रूप से लेने की जरूरत है'