Bhiwani: सरसों की खेती करने के प्रति बढ़ा भिवानी के किसानों का रुझान
किसान ने दस एकड़ मे सरसों की फसल उगाई हुई है. किसान दूसरी फसल उगाकर देसी खाद का प्रयोग करके दूसरी बीमारियों से भी छुटकारा दिला रहा है. सरकार द्वारा दी जा रही सारी स्कीमो का फायदा भी मिल रहा है.
Bhiwani: भिवानी के किसान अब सरसों की खेती करके धनवान होते जा रहे हैं. सरसों की खेती कर भिवानी के किसानों को काफी फायदा हो रहा है. उन्हें सरकार द्वारा दी जा रही सुविधाओं का काफी लाभ मिल रहा है. उनका कहना है कि सरसों की फसल से ज्यादा फायदा मिल रहा था. इसी के चलते वह अब देसी खाद से फसल उगा रहे हैं. धरतीपुत्र अब सर्व संपन्न बनता जा रहा है, जहां पहले वह रुपए के लिए तरसता था. वहीं अब वह परंपरागत खेती कर सरसों की फसल की बेचकर अच्छे दाम कमायेगा. आये साल अब सरसों का का एरिया बढ़ता जा रहा है.
यह तस्वीर भिवानी जिले के के किसानों की है, जो अब खुशहाल हो चला है. धरतीपुत्र का पहले परंपरागत खेती की तरफ दोबारा कम रुझान हो रहा है. क्योंकि पहले खेती से किसान को कुछ ज्यादा मुनाफा नहीं मिलता था, लेकिन सरकार द्वारा दी जा रही सुविधाओं के कारण खेती दोबारा पटरी पर लोट रही है. पहले किसानों को बारिश या ओलावृष्टि के कारण फसलें खराब होने पर कुछ नही मिलता था, जिसके कारण वो खेती छोड़ने पर मजबूर था. वहीं अब सरकार द्वारा मुआवजा व खेती के लिए मशीनें के साथ-साथ सब्सिडी भी दी जाती है. इसी के कारण किसान दोबारा खेती करने लग गया है.
आपको बता दें कि किसान ने दस एकड़ मे सरसों की फसल उगाई हुई है. किसान दूसरी फसल उगाकर देसी खाद का प्रयोग करके दूसरी बीमारियों से भी छुटकारा दिला रहा है. सरकार द्वारा दी जा रही सारी स्कीमो का फायदा भी मिल रहा है. चाहे सौर ऊर्जा की बात हो या कृषि यंत्र पर सब्सिडी व सब्जियों के बीज फ्री मिला है. कृषि अधिकारी नरेंद्र मेचु बताया कि किसान का परंपरागत खेती तरफ उनका ज्यादा रुझान बढ़ रहा है. उनकी सरकार द्वारा दी जा रही सारी स्कीम मिल रही है.
Input: Naveen Sharma