Haryana News: नमाज अदा करने के लिए मस्जिदों में उमड़ी भीड़, गले मिलकर लोगों ने दी बधाई
Eid ul Azha: स्वाहिलीन मौलवी ने बताया कि ईद उल अजहा हमें सिखाता है कि हमें अपनी इच्छाओं और भौतिक सुखों को अल्लाह की इच्छा के ऊपर नहीं रखना चाहिए. यह हमें गरीबों और जरूरतमंदों की मदद करने और दूसरे के प्रति दयालु और उदार होने की भी प्रेरणा देता है.
Charkhi Dadri News: दादरी की मस्जिद में सोमवार को ईद उल अजहा की नमाज अदा की गई. भीषण गर्मी में सैकड़ों की संख्या में नमाजी सुबह से ही ईदगाहों और मस्जिद की ओर भीड़ लगाना शुरूकर दिया. दादरी की मस्जिद में सोमवार को ईद उल अजहा की नमाज अदा की गई. भीषण गर्मी में सैकड़ों की संख्या में नमाजी सुबह से ही ईदगाहों और मस्जिद की ओर भीड़ लगाना शुरूकर दिया. नमाज से पहले इमाम ने ईद उल अजहा के महत्व को विस्तार से समझाया.
नमाज के दौरान रहे कड़े इंतजाम
नमाज के दौरान पुलिस के भी कड़े इंतजाम रहें. नमाज के बाद मस्जिद में देश की उन्नति और सलामती की तथा विश्व में अमन के लिए दुआएं मांगी गई. नमाज के बाद एक दूसरे को गले मिलकर ईद की बधाई दी गई. दादरी के रविदास नगर ईदगाह में बड़ी संख्या में नमाजी नमाज के लिए पहुंचे. इस मौके पर मस्जिद पहुंचे सतपाल सांगवान व निर्दलीय विधायक सोमवीर सांगवान ने सभी को ईद की शुभकामनाएं भी दी.
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इस महीने में किया जाता है हज का आयोजन
स्वाहिलीन मौलवी ने बताया कि ईद उल अजहा हमें सिखाता है कि हमें अपनी इच्छाओं और भौतिक सुखों को अल्लाह की इच्छा के ऊपर नहीं रखना चाहिए. यह हमें गरीबों और जरूरतमंदों की मदद करने और दूसरे के प्रति दयालु और उदार होने की भी प्रेरणा देता है. यह महीना इस्लाम के पवित्र महीने में से एक है. इस महीने में इस्लाम के पांचवें स्तंभ हज का आयोजन किया जाता है. इस महीने में ईद उल अजहा का त्योहार भी मनाया जाता है. उन्होंने कहा कि यह त्याग, समर्पण और ईश्वर के प्रति भक्ति का भी त्योहार है. उन्होंने कुर्बानी के महत्व को बताया. उन्होंने कहा कि बकरीद ईद सिर्फ जानवरों की बलि देने तक सीमित नहीं है. यह त्याग, समर्पण और ईश्वर के प्रति भक्ति का भी त्योहार है. यह त्योहार सामुदायिक भावना और भाईचारे को बढ़ावा देने का बेहतरीन अवसर प्रदान करता है. यह मोहब्बत का पैगाम देने वाले त्योहार है.
Input- Pushpender Kumar