Delhi News: एक बंदर पूरे आया नगर पर पड़ रहा भारी, 50 लोगों को कर चुका घायल, दहशत में लोग
Money Attack News: दिल्ली के आया नगर में एक विकलांग बंदर ने लोगों का जीना दुशवार कर चुका है और यहां लोगों डर के साए में जीने को मजबूर है. बता दें कि एक बंदर अबतक 50 लोगों को काट चुका है.
Delhi News: क्या आप सोच सकते हैं कि एक बंदर इतना खतरनाक हो सकता है कि उसकी खौफ में हजारों परिवार 3 महीने से खौफ में दिन काट रहे हैं. एक ऐसा बंदर जो जब हमला करता है तो इंसानों का मांस फाड़ देता है. बाइक पर चलते युवक पर हमला कर देता है तो घर के बाहर बैठे महिलाएं एवं बच्चों को भी नहीं छोड़ता. बता दें कि आया नगर इलाके के लोग खतरनाक बंदर के खौफ में बीते 3 महीने से जी रहे हैं. 50 से ज्यादा लोगों को यह बंदर जख्मी कर चुका है. बावजूद इसके उसे यहां से नहीं हटाया गया है.
22 साल के युवक के हाथ में बंदर ने इस कदर काटा है कि ऐसा लग रहा है मानो किसी आदमखोर जानवर ने इसे काट खाया हो, लेकिन ये विकलांग बंदर ने काटाहै. यह बंदर इलाके में पिछले तीन महीने से लोगों पर हमले कर रहा है और उन्हें अपना शिकार बन रहा है. स्थानीय लोगों ने कहा यह इकलौता बंदर है जो एक हाथ से विकलांग है और सभी को काटता रहता है. यह बंदर इतना खतरनाक है कि वह बच्चे और महिलाओं को तो छोड़िए बड़ों को भी वह नहीं छोड़ता.
यहां लोगों के मन में बस एक ही सवाल है कि आखिर एक बंदर इतना किसी को कैसे जख्मी कर सकता है. लोगों ने बताया कि महीनों से इस बंदर का आतंक इस पूरे इलाके में छाया हुआ है. तमाम जगह शिकायत के बावजूद भी बंदर को यहां से नहीं हटाया जा सका है. लोगों ने कहा कि यहां के लोगों की तरफ से प्रशासन से लगातार गुहार लगाई जा रही है कि इस बंदर को यहां से हटा कर खौफ से मुक्ति दिलाई जाए.
आपको बता दें कि देश की बंदरों का आतंक कोई नई बात नहीं है, लेकिन शायद यह पहली बार देखा गया है कि एक बंदर ने पूरे इलाके को अपने खौफ में जीने को मजबूर कर दिया है. शायद यह पहली बार ही होगा जो एक बंदर 50 से ज्यादा लोगों को घायल कर चुका है. ऐसे में प्रशासन द्वारा ठोस कदम न उठाने से लापरवाही साफ दिखाई देती है. शायद प्रशासन किसी बड़े घटना के इंतजार में है इसीलिए महीनों से इस बंदर को यहां से हटाया नहीं गया है. बहरहाल अब देखते हैं कि आखिर प्रशासन कब ठोस कदम उठाती है, जिससे कि बंदर की खौफ से आया नगर के के लोगों को राहत मिल सके.
Input: Mukesh Singh