Delhi University में पढ़ाया जाएगा हिंदुओं का इतिहास, खुलेगा Hindu Studies Center
दिल्ली यूनिवर्सिटी में हिंदू अध्ययन केंद्र शुरू हो रहा है. इसमें हिंदुओं के इतिहास के बारे में पढ़ाया जाएगा. इसके लिए दिल्ली यूनिवर्सिटी ने 17 सदस्यीय कमोटी का गठन किया है.
Delhi University: दिल्ली विश्वविद्यालय छात्रों को हिंदुओं के इतिहास के बारे में पढ़ाया जाएगा. इस बारे में पाठ्यक्रम शुरू करने के लिए हिंदू अध्ययन केंद्र स्थापित किया जाएगा. इसके लिए DU ने एक 17 सदस्यीय कमेटी का गठन किया है. इस बारे में डीयू के एक अधिकारी ने मीडिया को जानकारी दी. वहीं उन्होंने बताया कि इस कमेटी की अध्यक्षता दिल्ली विश्वविद्यालय के दक्षिणी दिल्ली परिसर के निदेशक प्रकाश सिंह (Prakash Singh) करेंगे. प्रकाश सिंह ने बताया कि विश्वविद्यालय में एक हिंदू अध्ययन केंद्र की आवश्यकता महसूस की जा रही थी. वहीं उन्होंने बताया कि भारत में करीब 23 विश्वविद्यालय हैं, जहां पर हिंदू अध्ययन में पाठ्यक्रम चलाया जाता है. वहीं एकेडमिक काउंसिल के एक सदस्य ने इस तरह के केंद्र की आवश्यकता पर सवाल उठाया है.
इस दौरान दिल्ली विश्वविद्यालय के दक्षिणी दिल्ली परिसर के निदेशक प्रकाश सिंह ने कहा कि दिल्ली विश्वविद्यालय (Delhi University) ने भी सोचा कि हिंदू अध्ययन के लिए एक केंद्र होना चाहिए. उन्होंने बताया कि हमारे पास बौद्ध अध्ययन केंद्र है, लेकिन हिंदू अध्ययन केंद्र नहीं है. हमने सोचा कि देखते हैं कि हिंदू अध्ययन केंद्र खोलना संभव है या नहीं. प्रकाश सिंह ने जोर देकर कहा कि कमेटी पहले केंद्र की साध्यता की जांच करने पर ध्यान देगी और फिर उसके अनुसार पाठ्यक्रम शुरू करेगी.
वहीं प्रकाश सिंह ने आगे कहा कि पहले हम स्नातकोत्तर (PG) और शोध (Research) में पाठ्यक्रम शुरू करेंगे और बाद में हम स्नातक कोर्स (Graduate Course) शुरू कर सकते हैं. इस बारे में बोलते हुए उन्होंने कहा कि कमेटी तय करेगी कि कितने पाठ्यक्रम शुरू किए जाएंगे और इसे इसी साल शुरू किया जाएगा या अगले साल शुरू होगा. कमेटी ने निकट भविष्य में एकेडमिक काउंसिल के समक्ष रूपरेखा प्रस्तुत करने की भी योजना बनाई है.
वहीं एकेडमिक काउंसिल के एक सदस्य ने केंद्र की आवश्यकता का विरोध किया है. उसने कहा कि सिख, मुस्लिम और अन्य धर्मों का केंद्र कहा हैं. वहीं उसने कहा कि यूनिवर्सिटी को अन्य धर्मों के लिए भी पाठ्यक्रम शुरू करना चाहिए. वहीं प्रकाश सिंह ने कहा कि इसे किसी भी धर्म से जोड़ना गलत है, क्योंकि हिंदू धर्म ही नहीं एक जीवन शैली है.