E-tendering: हरियाणा में आज ई-टेंडरिंग पर लंबे समय से चल रहा विवाद आज खत्म हो सकता है. ई-टेंडरिंग पर विरोध कर रही सरपंच एसोसिएशन के पदाधिकारियों के साथ मुख्यमंत्री मनोहर लाल की बैठक शुरू हो गई है. सरपंचों ने पहले ही ऐलान कर दिया था कि अगर मुख्यमंत्री के साथ होने वाली मुलाकात के बाद भी कोई परिणाम नहीं निकला तो 11 मार्च, 2023 को सीएम आवास का घेराव करेंगे और इसके बाद गांवों में सत्ताधारी नेताओं के प्रवेश पर रोक लगाई जाएगी.


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आज होने वाली बैठक को लेकर सरपंचों का मांग पत्र


सरपंचों के साथ होने वाली बैठक के लिए मनोहर लाल हरियाणा निवास पहुंच चुके हैं और कुछ ही देर में सरपंचों के साथ बैठक शुरू होने वाली है. आज की इस बैठक में 25 सरपंचों का डेलीगेशन हरियाणा निवास पहुंचा है. बैठक में सरपंच एसोसिएशन के पदाधिकारी 16 मांगों का मांग पत्र मुख्यमंत्री मनोहर लाल के सामने रखेंगे. इसी के साथ ई-टेंडरिंग में 50 लाख तक के टेंडर की मांग रखी जाएगी. पहले विधायक और सांसदों पर लागू हो फिर स्थानीय निकाय संस्थाओं पर.


हरियाणा सरपंच एसोसिएशन की 16 मांगे इस प्रकार हैं


1.. 73वें संशोधन की 12वीं सूची के 29 अधिकारों को पूर्ण रूप से लागू किया जाए.


2.. ई-टेंडरिंग प्रणाली का विरोध नहीं कर रहे, लेकिन इसके लिमिट 20 लाख से बढ़ाकर 50 लाख किया जाए.


3.. ग्राम पंचायतों में कार्यरत सभी विभागों के कर्मचारियों की एसीआर लिखने का अधिकार सरपंच को दिया जाए या वह कर्मचारी सरपंच के अधीन किया जाए.


4.. गांव में कराए जाने वाले विकास कार्यो में कमी पाए जाने पर कार्यवाही संबंधित अधिकारी के खिलाफ की जाए ना कि सरपंच के खिलाफ क्योंकि सरपंच टेक्निकल नहीं होता.


5.. टोल टैक्स सरपंच के लिए माफ होना चाहिए.


6.. ग्राम पंचायत की जमीन की रजिस्ट्री का 1% पैसा पंचायत खाते में दिया जाए.


7.. ग्राम पंचायतों में घरेलू बिजली के बिलों का 2% पैसा पंचायत खाते में दिया जाए.


8.. ग्राम पंचायतों में सरकार द्वारा करवाए जाने वाले सभी कार्यों में गुणवत्ता कार्य पूर्ण होने का प्रमाण पत्र सरपंच से लेना अनिवार्य किया जाए व सभी कार्यों में सरपंच की भूमिका होनी चाहिए.


9.. सरपंचों का वेतन 3 हजार है. इससे बड़ा कर 30,000 किया जाए और पंचों का वेतन एक हजार रुपये से 5000 किया जाए.


10.. राइट टू रिकॉल कानून पहले विधायक व सांसदों पर लागू किया जाए. उसके बाद स्थानीय निकाय संस्था पर लागू किया जाए.


11.. पंचायत सचिवालय में कॉमन सर्विस सेंटर में ऑपरेटर अलग से स्थापित किए जाएं, ताकि आमजन को सुविधा का लाभ मिल सके.


12.. पूर्व सरपंच की पेंशन अब रुपये 1000 है उसे बढ़ाया जाए.


13.. मनरेगा की पेमेंट 3 महीने के अंदर अंदर होने चाहिए तथा इसको ब्लॉक लेवल पर किया जाए और उसकी दैनिक मजदूरी अब ₹321 से बढ़ाकर ₹600 की जाए ओर मनरेगा की ऑनलाइन हाजरी बंद की जाए. क्योंकि अनेक को बाहर गांव में इंटरनेट काम नहीं कर रहा होता और वह गैर हाजिर हो जाते हैं.


14.. आंदोलन के दौरान जो भी केस किए गए हैं वह वापस लिया जाए.


15.. गांव के अंदर पंचायत जमीन पर जो नाजायज कब्जा कर रखा है. उसको तुरंत प्रभाव से हटाया जाए, जिससे पंचायत की आमदन ई-मेल इजाफा हो.


16.. PRI की बाकी बकाया राशि पंचायतों में जारी हो.


(इनपुटः विनोद लांबा)