हैदराबाद: तेलंगाना (Telangana) में हैदराबाद निकाय चुनाव (GHMC) में भले ही असदुद्दीन ओवैसी (Asaduddin Owaisi) की ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (AIMIM) और तेलंगाना राष्ट्र समिति (TRS) अलग-अलग चुनाव लड़ने की बात कह रही हों लेकिन जनता ये मानने को तैयार नहीं है. ओवैसी को इस वजह से चुनाव प्रचार के दौरान असहज स्थिति का सामना करना पड़ रहा है. जनता असदुद्दीन ओवैसी से तेलंगाना सरकार द्वारा घोषित बाढ़ राहत राशि की मांग कर रही है.


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बाढ़ राहत राशि बना चुनावी मुद्दा
टीआरएस सरकार द्वारा घोषित 10,000 रुपए बाढ़ राहत राशि वितरण पर तेलंगाना राज्य चुनाव आयोग (Telangana Election Commission) ने आदर्श आचार संहिता (Model Code of Conduct) के कारण रोक लगा दी है लेकिन अब यह नगर निगम चुनाव (GHMC) में बड़ा चुनावी मुद्दा बन गया है. 1 दिसंबर को होने वाले ग्रेटर हैदराबाद नगर निगम चुनावों (Greater Hyderabad Municipal corporation elections) के लिए जब असदुद्दीन ओवैसी (Asaduddin Owaisi) हैदराबाद के जंबाग इलाके में प्रचार कर रहे थे, तब स्थानीय लोगों ने उनसे 10,000 रुपये बाढ़ राहत राशि दिलाने की मांग की. असदुद्दीन ओवैसी ने जनता को काफी समझाने का प्रयास किया कि 4 दिसंबर को चुनाव नतीजे आने के बाद सरकार बाढ़ राहत राशि के चेक देगी.

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बीजेपी लगातार हमलावर
दरअसल हैदराबाद निकाय चुनाव (GHMC) में तेलंगाना राष्ट्र समिति (TRS) ने ओवैसी की पार्टी से अलग होकर सभी 150 सीटों पर चुनाव लड़ने का फैसला किया है. तेलंगाना के मुख्यमंत्री और टीआरएस प्रमुख के. चंद्रशेखर राव (KCR) के बेटे केटीआर ने हैदराबाद निकाय चुनाव अकेले दम पर लड़ने की बात कही है. दूसरी तरफ बीजेपी (BJP) एआईएमआईएम और टीआरएस पर ‘गुप्त समझौते’ के आरोप लगाकर लगातार हमलावर है. यही संदेश जनता में भी जा रहा है, इसीलिए जनता सरकार की योजना का लाभ असदुद्दीन ओवैसी से मांग रही है.


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