JNU Violence: `JNU में 95% राष्ट्रवादी छात्र, intellectual हैं; बहस करना स्वभाव है`
VC Dr Shanti Shri Pandit on JNU Violence: जवारह लाल नेहरू यूनिवर्सिटी एक बार फिर चर्चा में है. राम नवमी के दिन हुई हिंसा के बाद यहां की VC ने चुप्पी तोड़ी है.
Vice Chancellor Dr Shanti Shri Pandit on JNU Violence: जवाहरलाल नेहरू यूनिवर्सिटी (JNU) में रामनवमी (Ram Navami) के मौके पर हुई हिंसा को लेकर केंद्र सरकार ने सख्त रवैया अपनाया है. केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय (Union Ministry of Education) ने जेएनयू से हिंसा पर रिपोर्ट मांगी है. रामनवमी पर जेएनयू कैंपस में लेफ्ट और अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (ABVP) से जुड़े स्टूडेंट्स के बीच झड़प हुई थी, जिसमें करीब 20 लोग घायल हो गए थे. इस हिंसा के बाद अब यहां की वाइस चांसलर डॉ. शांति श्री पंडित (Shanti Shri Pandit) ने चुप्पी तोड़ी है. जिसमें उन्होंने मेस में मीट आने पर खुलासा किया.
क्या बोलीं वाइस चांसलर
वाइस चांसलर डॉ. शांति श्री पंडित (Shanti Shri Pandit) ने कहा, 'जेएनयू के 95% राष्ट्रवादी हैं. यहां के सभी छात्र पढ़ना चाहते हैं. लेकिन यहां ज्यादातर लोग intellectual ही आते हैं, इसलिए critical लोग हैं. बहस करना उनका स्वभाव है.'
मेस नहीं VC के हाथ में
इसके आगे विवाद की वजह बने मीट के आने पर भी उन्होंने बात की है. वह बोलीं, 'रामनवमी के दिन कुछ outsiders ने मीट वेंडर को नहीं आने दिया था. हम किसी को नहीं रोकते कुछ भी खाने से. मेस हमारे हाथ में नहीं है.' जब उनसे पूछा गया कि JNU विवादों में क्यों रहता है, तो उन्होंने कहा, 'Media JNU से प्यार करता है. हम अकेली ऐसी यूनिवर्सिटी हैं जो WS rankings में शामिल हुई है. लेकिन वो खबर नहीं बनती.'
आगे से क्या होंगे बदलाव
VC से इस बारे में बात करते हुए पूछा गया कि आगे से पत्थर ना चलें इसके लिये क्या उपाय करने वाली हैं. इसके जवाब में उन्होंने कहा, 'आप देखेंगे अब जेएनयू बदल रहा है. बदलाव होता है तो दिक्कत तो होती है. वही दिक्कत है जो हो रही है. 5% fringe element हैं. मैं खुद यहां स्टूडेंट रही हूं तब भी वामपंथ था लेकिन anti nationals नहीं थे. अब राजनीति बहुत बदल गई है. प्राक्टर मामले की जांच कर रहे हैं. दोनों स्टूडेंट ग्रुप ने पुलिस को शिकयत कर दी है.'
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जेएनयू में कैसे भड़की हिंसा?
गौरतलब है कि जेएनयू में रविवार को रामनवमी के मौके पर 'शांतिपूर्ण' हवन पर कुछ स्टूडेंट्स द्वारा आपत्ति जताए जाने के बाद हिंसा भड़क गई थी. अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद ने भी यही दावा किया है. हालांकि, वामपंथी संगठनों के नेतृत्व वाले जेएनयू छात्रसंघ (JNUSU) ने आरोप लगाया है कि एबीवीपी के सदस्यों ने रामनवमी पर कावेरी हॉस्टल के मेस में नॉन-वेज खाना परोसे जाने का विरोध करते हुए छात्रों पर हमला कर दिया था.
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