पत्थरबाज़ी रोकने के लिए होगी 1000 महिला पुलिसकर्मियों की भर्ती, J&K को विकास के लिए ₹20 हज़ार करोड़ जारी
जम्मू कश्मीर में सुरक्षाबल के जवानों पर पथराव की घटनाओं को रोकने के लिये सरकार महिला पुलिस बटालियन की संख्या बढ़ाएगी.
नयी दिल्ली: जम्मू कश्मीर में सुरक्षाबल के जवानों पर पथराव की घटनाओं को रोकने के लिये सरकार महिला पुलिस बटालियन की संख्या बढ़ाएगी. गृह मंत्रालय के एक अधिकारी ने गुरुवार (27 अप्रैल) को बताया कि जम्मू कश्मीर में तैनाती के लिये 1000 महिला पुलिसकर्मियों की भर्ती की जायेगी.
देश में 144 रिजर्व बटालियन
ये महिला पुलिसकर्मी केन्द्र सरकार की नवगठित पांच भारतीय रिजर्व बटालियनों का हिस्सा होंगी. केन्द्र सरकार की रिजर्व बटालियनों में भर्ती होने वाले पुलिसकर्मियों की तैनाती उनके अपने गृह राज्य में ही की जाती है. देश भर में कुल 144 रिजर्व बटालियनें मौजूद हैं. इनमें से चार चार बटालियन नक्सली हिंसा प्रभावित 12 राज्यों में पहले से ही तैनात है.
कश्मीर घाटी से 40 फ़ीसद आवेदन
पांचों बटालियन में पुलिसकर्मियों की भर्ती के लिये 5 हजार पदों पर भर्ती की जानी है. इनके लिये जम्मू कश्मीर के लगभग 1.40 लाख युवाओं ने आवेदन किया है. इनमें से 40 प्रतिशत आवेदन कश्मीर घाटी से मिले है. बटालियनों में भर्ती का मकसद स्थानीय युवाओं को रोजगार देना है. इसमें 60 पद राज्य के सीमावर्ती इलाकों के आवेदकों के लिये आरक्षित हैं.
महिला पुलिसकर्मियों के 1000 पद के लिए 30 हजार आवेदन
अधिकारी ने बताया कि इनमें महिला पुलिसकर्मियों के 1000 पद भी शामिल हैं. इसके लिये अब तक लगभग 30 हजार आवेदन मिल चुके हैं. महिला पुलिसकर्मियों को मुख्य रूप से कश्मीर घाटी में पथराव और कानून व्यवस्था से जुड़ी ड्यूटी में तैनात किया जायेगा.
राजनाथ सिंह की अध्यक्षता में हुई बैठक
उन्होंने बताया कि इस मुद्दे पर गुरुवार को गृह मंत्री राजनाथ सिंह की अध्यक्षता में हुयी बैठक में इस मुद्दे पर चर्चा की गयी. बैठक का एजेंडा मोदी सरकार द्वारा जम्मू कश्मीर में विकास परियोजनाओं के लिये साल 2015 में घोषित 80 हजार करोड़ रुपये के पैकेज पर चर्चा करना था.
जम्मू कश्मीर को 20 हजार करोड़ रुपये
केन्द्र सरकार ने प्रधानमंत्री के विकास पैकेज के तहत जम्मू कश्मीर को 20 हजार करोड़ रुपये जारी किये. केंद्र ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ओर से जम्मू कश्मीर के लिए घोषित 80,000 करोड़ रुपये के विकास पैकेज में से करीब 20,000 करोड़ रुपये जारी कर दिये हैं. यह जानकारी गुरुवार (27 अप्रैल) को यहां गृहमंत्री राजनाथ सिंह की अध्यक्षता में हुई एक उच्चस्तरीय अंतर मंत्रालयी बैठक में मुहैया करायी गई. प्रधानमंत्री की विकास परियोजना के 80,068 करोड़ रुपये के परिव्यय में से 61,112 करोड़ रुपये पहले ही विभिन्न मंत्रालयों द्वारा मंजूर किये जा चुके हैं जो कि कुल राशि का 75 प्रतिशत से अधिक है.
एक आधिकारिक विज्ञप्ति में कहा गया कि 19961 करोड़ रुपये पहले ही राज्य सरकार सहित विभिन्न क्रियान्वयन एजेंसियों को जारी किये जा चुके हैं. सिंह ने बड़े पैकेज और जम्मू कश्मीर में विकास पहलों के लिए विभिन्न कार्यों के क्रियान्वयन की प्रगति की समीक्षा की. एक अधिकारी ने कहा कि बड़े पैकेज का सफल क्रियान्वयन जम्मू कश्मीर में अलगाव की भावना को शांत करने के लिए महत्वपूर्ण है.