प्रकाश चंद्र शर्मा/जांजगीर-चांपा: जांजगीर-चांपा जिले के सरकारी प्राइमरी और मिडिल स्कूलों में कारोना काल के बाद लौटे छात्रों का शिक्षा विभाग आंकलन करेगा कि कहीं बच्चे कमजोर तो नहीं हो गये या फिर पुराना सब कुछ भूल तो नहीं गये. इस लिए रणनीति के तहत आंकलन परीक्षा की तैयारी की गई है. आकलन परीक्षा को एक अभियान के रूप में चलाने का निर्णय लिया गया है. नई रणनीति के तहत सभी बच्चों की परीक्षा एससीईआरटी द्वारा पूर्व में भेजे गए प्रश्नपत्र के आधार पर ली जाएगी.


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दरअसल कोरोना के बाद बच्चे अब दोबारा पाठशाला में लौटने लगे हैं और उन्हे सबकुछ नया नया सा लग रहा है. खासकर सरकारी स्कूलों के प्राथमिक और मिडिल में यही आलम नजर आ रहा है. इस बात से विभागीय अमला भी अनजान नहीं है. ऐसे में आंकलन परीक्षा में पूर्व के दो कक्षाओं के प्रश्न पूछ कर छात्रों को एकबार फिर से मानसिक रूप से तंदुरूस्त किया जाएगा. जिसकी तैयारी सभी स्कूलों में प्री-एग्जाम के तौर पर शुरू कर दी गई है.


शिक्षक मूल्यांकन करेंगे
बच्चों को अपनी कॉपी के अलग से पन्ने में सवाल हल करना है और जमा करना है. यह निर्देश भी जारी किया गया है कि उत्तर पुस्तिका का मूल्यांकन संकुल स्तर पर होगा. जिस स्कूल में बच्चे पढ़ रहे है. अब उसके शिक्षक कॉपी नहीं जांचेंगे. दूसरे स्कूल के शिक्षक मूल्यांकन करेंगे. 


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इस तरह होगा मूल्यांकन
जिला शिक्षा अधिकारी के मुताबिक यदि एक छात्र इस साल सातवीं कक्षा में है तो उसे पांचवी कक्षा के स्तर के सवाल पूछे जाएंगे. इसी तरह आठवीं के छात्र को 6वीं कक्षा स्तर के सवाल हल करने हैं. चौथी कक्षा के बच्चे को दूसरी के सवाल पूछे जाएंगे. परीक्षा देने वाले बच्चों के अंकों की एंट्री सीजी स्कूल डॉट कॉम पोर्टल में करने के निर्देश हैं. कल 30 सितंबर को कक्षा 1, 2, 3 व 6 का मूल्यांकन होगा. 1 अक्टूबर को अन्य कक्षाओं का मूल्यांकन होगा.