सचिन गुप्ता/छिंदवाड़ा: छिन्दवाड़ा से कोविड के बूस्टर डोज लगाने में बड़ी लापरवाही सामने आई है. मामला आठ माह पहले मर चुके व्यक्ति को कोविड का बूस्टर डोज लगाने से जुड़ा हुआ है. अब इस मामले में नया हंगामा खड़ा हो चुका है. स्वास्थ्य विभाग को चौतरफा घेरा जा रहा.


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

बुरहानपुर की इस पंचायत में 60 साल से नहीं हुआ चुनाव, निर्विरोध चुने जाते हैं सरपंच, गिनीज बुक की तैयारी


दरअसल छिन्दवाड़ा में आठ माह पहले जिस शख्स की मौत हो गई थी, उसे कोविड का बूस्टर डोज लगा दिया. मृतक व्यक्ति के नाम का सर्टिफिकेट भी जारी कर दिया. सिर्फ यह नहीं उनके परिवार के अन्य सदस्यों को भी बूस्टर डोज लगाए जाने का सर्टिफिकेट जारी हो गया जबकि किसी ने भी अभी तक बूस्टर डोज नहीं लगवाया है.


कब हुई थी मरीज की मौत
छिंदवाड़ा के प्रियदर्शनी कॉलोनी निवासी महादेव प्रसाद पाठक की मृत्यु सितंबर 2021 को गई थी. जिस का मृत्यु प्रमाण पत्र भी जारी हो चुका है. परंतु उनके रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर पर दिनांक 08-06-2022 को मैसेज प्राप्त हुआ कि आपका वैक्सीनेशन दिनांक 08-06- 2022 को सफलतापूर्वक हो चुका है. संबंधित व्यक्ति के परिजनों द्वारा बताया गया कि उनके घर के अन्य सदस्यों के नाम पर भी ऐसे ही मैसेज आए हैं, जबकि उनके द्वारा अभी तक बूस्टर डोज नहीं लगवाया गया है. उनके ही परिवार के 1 सदस्य आशा पाठक ने बताया कि उनको अभी तक बूस्टर डोज नहीं लगा है. लेकिन उनके पास मैसेज आ चुका है और उसका सर्टिफिकेट भी जारी हो चुका है. ऐसे में उनको बूस्टर डोज लगवाने के लिए परेशानी का सामना करना पड़ेगा. ॉ


6000 बच्चियों की हुई घर वापसी, पुलिस कमिश्नर सिस्टम पर गृहमंत्री ने दिया बड़ा बयान


तकनीकी कारण को जिम्मदेार मानते है
सरकार की इस महत्वपूर्ण योजना का स्थानीय स्तर पर किस तरह दुरुपयोग हो रहा है. यह घटना उसका ज्वलंत उदाहरण है. जिले के मुख्य चिकित्सा अधिकारी जीसी चौरसिया इसके लिए तकनीकी कारणों को जिम्मेदार मानते हैं.