ग्वालियर। भोपाल के रानी कमलापति रेलवे स्टेशन के बाद अब प्रदेश के एक और बड़े शहर की स्टेशन को मॉडल स्टेशन बनाने की तैयारियां शुरू हो गई हैं. इस स्टेशन को करोड़ों रुपए की लगात से संवारा जाएगा. रेलवे विभाग ने भी स्टेशन के लिए सभी विभागों की अनुमति ले ली है. 


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ग्वालियर बनेगा मॉडल स्टेशन
ग्वालियर स्टेशन को मॉडल स्टेशन बनाने का रास्ता अब साफ हो गया है, रेलवे विभाग के द्वारा सभी विभागों से अनुमति प्राप्त हो चुकी हैं और निर्माण कार्य के लिए अब टेंडर जारी कर दिए गए हैं. बताया जा रहा है कि अब तीन महीने के अंदर टेंडर की प्रक्रिया भी पूरी हो जाएगी. जिसके बाद जनवरी महीने में स्टेशन के पुनर्विकास का काम शुरू कर दिया जाएगा. 


440 करोड़ की लगात से बनेगा नया स्टेशन 
झांसी मंडल के डीआरएम आशुतोष का कहना है कि यह स्टेशन अपने आप में मॉडल स्टेशन होगा, इसके 3 एग्जिट और तीन एंट्री गेट रहेंगे. जबकि यात्रियों की सुविधा के लिए 21 लिफ्ट और 19 एस्केलेटर लगाए जाएंगे, इस पूरे प्रोजेक्ट पर लगभग 440 करोड रुपए खर्च किए जाने संभावित है, इसके अलावा अगर और अधिक राशि की  आवश्यकता पड़ी तो वह भी रेलवे विभाग उपलब्ध कराएगा. उन्होंने कहा कि रेलवे स्टेशन के पुनर्विकास के बाद यात्रियों को न केवल बेहतर सुविधाएं मिलेगी बल्कि रेलवे के रेवेन्यू में भी बढ़ोतरी होगी. 


हालांकि स्टेशन के पुनर्विकास के दौरान लगभग 213 पेड़ों को काटा जाना है, जिसको लेकर डीआरएम का कहना है कि टेंडर की शर्तों में इस बात का उल्लेख किया गया है कि जितने भी पेड़ काटे जाएंगे उसके 10 गुना पेड़ स्थानीय प्रशासन द्वारा बताई जगह पर लगाए जाएंगे.


गौरतलब है कि ग्वालियर उत्तर मध्य रेलवे के प्रमुख रेलवे स्टेशनों में शुमार है और यहां पर बड़ी संख्या में यात्री सफर करते हैं, इतना ही नहीं उत्तर प्रदेश और राजस्थान के भी कई यात्री ऐसे होते हैं जो यहीं से अपनी ट्रेन पकड़ते हैं, ऐसे में जब ग्वालियर रेलवे स्टेशन का विकास होगा तो कहीं ना कहीं शहर विकास में भी यह मददगार साबित होगा.


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