Semi Conductor: सीएम मोहन यादव 7 और 8 अगस्त के दिन बेंगलुरु में रहेंगे. उनका यह दौरा अहम माना जा रहा है, क्योंकि मुख्यमंत्री यहां आईटी-इलेक्ट्रॉनिक्स सेक्टर कई कंपनियों के साथ बैठक करेंगे. इन बैठकों में मध्य प्रदेश में सेमी कंडक्टर बनाने की पहल पर चर्चा होगी. सेमी कंडक्टर बनाने का सबसे ज्यादा काम ताइवान में होता है, ऐसे में प्रदेश के कई सीनियर अधिकारी पिछले डेढ़ साल से ताइवान से संपर्क में थे, अब इन दिनों में होने वाली बैठकों में एमओयू भी होगा, जिसके बाद प्रदेश में निवेश का बड़ा रास्ता खुलेगा, जिससे रोजगार मिलने की पूरी संभावना है. 


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सेमी कंडक्टर मार्केट ताइवान का दबदबा 


दरअसल, सेमी कंडक्टर मार्केट में ताइवान का दबदबा रहता है, दुनिया का 70 प्रतिशत से ज्यादा सेमी कंडक्टर का मार्केट ताइवान में है, लेकिन मध्य प्रदेश में भी सेमी कंडक्टर का निर्माण करने के पर्याप्त संसाधन उपलब्ध हैं, इसलिए राज्य इस दिशा में काम कर रहा है. ताइवान की सेमी कंडक्टर मैन्युफैक्चरिंग कंपनी लिमिटेड के साथ मध्य प्रदेश के अधिकारियों की कई दौर की बातचीत हो चुकी है. ऐसे में बेंगलुरू में होने वाली इस बैठक में उम्मीद की जा रही है एमओयू साइन होने के बाद इस दिशा में तेजी से काम होगा. अगर यह प्रस्ताव पास होगा तो फिर मध्य प्रदेश इलेक्ट्रॉनिक्स मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर में और भी दूसरी कंपनियों को निवेश करने के लिए आकर्षित कर सकता है. 


मोहन सरकार ने पहले ही भोपाल के आईटी पार्क में 20 से ज्यादा इलेक्ट्रॉनिक्स मैन्युफैक्चरर्स काम शुरू करवाने की तैयारी की है. प्रदेश सरकार ने भोपाल के बांडीखेड़ी इलाके में  इलेक्ट्रॉनिक्स क्लस्टर बनाने के लिए रास्ता भी तैयार कर लिया है. ऐसे में अब सीएम मोहन की उद्योगपतियों के साथ बेंगलुरू में होने वाली बैठक अहम मानी जा रही है. 


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एमपी के लिए क्यों जरूरी है सेमी कंडक्टर


दरअसल, आज के वक्त में एक सेमी कंडक्टर डिवाइस हो गया है. कंप्यूटर, मोबाइल, लैपटॉप, टीवी, गेमिंग कंसोल, रेफ्रीजिरेटर समेत कई इलेक्ट्रॉनिक्स डिवाइस में सेमी कंडक्टर चिप का ही इस्तेमाल होता है. इसके अलावा रेलवे में भी इसका उपयोग तेजी से बढ़ा है. ऐसे में अगर मध्य प्रदेश में सेमी कंडक्टर का उत्पादन शुरू हो जाता है तो यह भविष्य के लिए मध्य प्रदेश के लिए बड़ा मौका होगा. खास बात यह है कि इस क्षेत्र में चीन का भी दबदबा था. लेकिन चीन से जुड़े अंतरराष्ट्रीय विवादों के बाद ताइवान की बहुत सी कंपनियां अब दूसरे विकल्पों पर काम कर रही हैं, जिसमें मध्य प्रदेश मुफीद हो सकता है. इसलिए सीएम मोहन यादव बेंगलुरू में ताइवान की कंपनियों के साथ बैठक करेंगे और सेमी कंडक्टर को आगे बढ़ाने की दिशा में काम करेंगे. 


निवेश पर चर्चा 


इसके अलावा भी सीएम मोहन यादव आईटी सेक्टर की दूसरी कंपनियों से भी संवाद करेंगे ताकि मध्य प्रदेश में निवेश को और बढ़ाया जा सके. सीएम इंफोसिस, टीसीएस, विसेन टेक्नोलॉजी, कॉग्निजेंट, नेसकॉम, किंड्रील, डेल्टा कैपिटा, नीमन मारकस, सीसा इंफोसेक हैपिएस्ट माइंड्स जैसी कंपनियों के प्रतिनिधियों से भी चर्चा करेंगे. 


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