MP की मुस्लिम महिलाओं ने खून से लिखा खत, ताउम्र देश का नेतृत्व करें PM मोदी, आज ही नई संसद में हुई एंट्री
मुस्लिम महिलाओं ने एक मंच पर खड़े होकर न सिर्फ अपना खून निकलवाया बल्कि उसे स्याही की तरह इस्तेमाल करते हुए पीएम मोदी ने नाम एक खत भी लिखा. इस घटना को जिसने भी देखा, वो हैरान हो गया. वहीं लोग ये भी सोचते हुए नजर आए कि आखिर पीएम को खून से क्यों खत लिखा गया.
विदिशा: आजाद भारत के लोकतंत्र का प्रतीक रही संसद की पुरानी इमारत इतिहास के पन्नों में दर्ज हो गई और आज गणेश चतुर्थी के दिन नए संसद भवन का श्री गणेश भी हो गया. जिसके बाद नई बिल्डिंग में संसदीय कार्यवाही भी शुरू हो गई. खास बात यह है कि एक दिन पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को मध्यप्रदेश के विदिशा जिले की मुस्लिम महिलाओं ने खून से खत लिखा है, जिसमें उन्होंने ताउम्र देश का नेतृत्व पीएम मोदी के हाथों में रहने की दुआ मांगी थी.
दरअसल विदिशा की मुस्लिम महिलाओं ने एक मंच पर खड़े होकर न सिर्फ अपना खून निकलवाया बल्कि उसे स्याही की तरह इस्तेमाल करते हुए पीएम मोदी ने नाम एक खत भी लिखा. इस घटना को जिसने भी देखा, वो हैरान हो गया. वहीं लोग ये भी सोचते हुए नजर आए कि आखिर पीएम को खून से क्यों खत लिखा गया. तो चलिए आपको बताते हैं.
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जानें क्यों लिखा खून से खत
बता दें कि मुस्लिम महिलाओं ने पीएम नरेंद्र मोदी के जन्म दिन 17 सितंबर 2023 को यादगार बनाने के लिए इसे खून से खत लिखा था, जिसमें इन महिलाओं ने अपने मन से निकलने वाली दुआएं लिखी थीं. जिसमें लिखा था कि ''मैं दुआ करती हूं कि अल्हाताला हमारे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी को हर बला से बचाए. इसके अलावा मुस्लिम महिलाओं ने पीएम मोदी को खत लिखकर उनकी सलामती के साथ ताउम्र देश का नेतृत्व करने की दुआएं दीं. खून से लिखा यह खत पीएम मोदी को भेजा भी गया है.
हिंदू महिलाओं को दी सिलाई मशीन
वहीं इस मौके पर प्रशिक्षण प्राप्त कर स्वरोजगार करने के लिए दस गरीब हिंदू महिलाओं को मुस्लिम महिलाओं ने अपनी ओर से निशुल्क दस सिलाई मशीन प्रदान किए. कार्यक्रम के दौरान 73 दीपक प्रज्जवलित करते हुए प्रधानमंत्री के नाम का केक भी काटा गया. ग्यारह दिव्यांग बेटियों का केसरिया शॉल पटका एवं नगद राशि देकर सम्मान भी किया. इस दौरान मुस्लिम समाज की महिलाओं ने कहा कि आज नरेंद्र मोदी जी के सबका साथ सबका विकास और सबका विश्वास के नारे को इस कार्यक्रम में सार्थक होते हुए देख रहे है. हमारा देश का अमन इसी तरह बरकरार रहे ऐसी हम प्रार्थना करती है.
इस दौरान बेटियों द्वारा तैयार सांस्कृतिक कार्यक्रमों का भी अवलोकन किया. इस दौरान शहर काजी रशीद खान लियाकत अली, अल्पसंख्यक मोर्चे के अध्यक्ष मुनीम गौरी, सहित बड़ी संख्या में मुस्लिम महिलाएं एवं बेटियां उपस्थित रहीं..
रिपोर्ट- दिपेश शाह