संजय लोहानी/सतना: मध्य प्रदेश में इन दिनों पंचायत चुनाव अपने शबाब पर है. प्रत्याशी जनता को लुभाने के लिए अपने सभी पैतरे आजमा रहे हैं. इस बीच सतना जिले एक ऐसा मामला सामने आया है, जहां दबंगो के मैदान में उतरे पांच में से 4 प्रत्याशी पलायन करके जिला मुख्यालय पहुंच गए. जिला प्रशासन के पास पहुंचे प्रत्याशियों ने आशंका जताई है कि गांव नें निष्पक्ष चुनाव नहीं हो पा रहा. गांव का दबंग चुनावों को प्रभावित कर रही है.


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प्रचार करना भी दूभर हुआ
मामला सतना जिले के आदिवासी बाहुल्य तिहरा पाठा पंचायत का है. उचेहरा जनपद की तिहरा पाठा पंचायत ने दबंगो का राज चलता है. यहां हर चुनाव में दबंग चुनाव प्रभावित करते हैं. वो अपने ही प्रत्याशी को जनप्रतिनिधि के रूप में जीत दर्ज कराने की हर कोशिश करते हैं. इस बार फिर पंचायत आदिवासियों के लिए आरक्षित है, यहा पांच प्रत्याशी मैदान में हैं. इनमें से एक दबंगो का खास है, जिस कारण चार प्रत्याशियों का चुनाव प्रचार करना भी दूभर हो चुका है.



पलायन करने को मजबूर
पंचायत के अन्य प्रत्याशियों ने बताया कि गांव में दबंगो का राज चल रहा. यहां हर चुनाव में दबंग बूथ कैप्चरिंग करते हैं. चुनाव कोई भी लड़े पर जीत दबंगो के प्रत्याशी की होती है. ऐसे में इस बार सरपंची का चुनाव लड़ना दूभर हो गया है. वो प्रचार नहीं कर पा रहे हैं. इस कारण वो पलायान करने को मजबूर हैं. दबंगों का राज चला तो वो चुनाव अवधि के लिए पलायन करने को मजबूर हो जाएंगे.


अधिकारी ने दिया निष्पक्ष चुनाव का भरोसा
आपसी प्रतिस्पर्धा भूलकर जिला मुख्यालय पहुंचे अन्य प्रत्याशियों (शिवकुमार कोल, इंद्रजीत कोल) ने जिला निर्वाचन अधिकारी से निष्पक्ष चुनाव कराने की मांग की. प्रत्याशियों का आरोप है कि दबंग हर चुनाव में मतदाताओं के वोट स्वयं डाल लेते हैं और पीठासीन अधिकारी कुछ नहीं कर पाते. मामले पर सहायक जिला निर्वाचन अधिकारी की मांने तो पंचायत में निष्पक्ष चुनाव की व्यवस्था की जाएगी, इसके लिए एसडीएम और एसडीओपी को स्थल में भेजा जाएगा.


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