राहुल सिंह राठौर/उज्जैनः बाबा महाकाल की नगरी उज्जैन में धार्मिक सद्भावना को लेकर एक बार फिर बवाल मचा है. दरअसल उज्जैन में एक धार्मिक प्रतियोगिता का आयोजन किया जा रहा है. जिसमें पैगंबर मोहम्मद के अंतिम संदेश को लेकर निबंध प्रतियोगिता का आयोजन किया जा रहा है. खास बात ये है कि यह आयोजन सिर्फ गैर मुस्लिमों के लिए किया जा रहा है. इस पर विवाद शुरू हो गया है. जिसके बाद गृहमंत्री ने मामले की जांच के आदेश दिए हैं. 


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क्या है पूरा मामला
दरअसल सोशल मीडिया पर एक संदेश तेजी से वायरल हुआ, जिसमें लिखा था 'निबंध प्रतियोगिता' 'अंतिम संदेश मोहम्मद (स.अ.व.) संसार के मार्गदर्शक'. इस निबंध प्रतियोगिता का आयोजन पैगामे इंसानियत सोसाइटी द्वारा किया जा रहा था. इस प्रतियोगिता के विजेताओं के लिए प्रथम, दूसरी और तीसरी कैटेगरी में इनामों का भी ऐलान किया गया था. सोशल मीडिया पर वायरल मैसेज में लिखा था कि इस प्रतियोगिता में सिर्फ गैर मुस्लिम यानी कि हिंदू, ईसाई, जैन, सिख और अन्य वर्ग के लोग ही हिस्सा ले सकते हैं. इसे ही लेकर विवाद शुरू हो गया. 


इस आयोजन के खिलाफ हिंदू संगठन के पदाधिकारी एसएसपी के पास ज्ञापन लेकर पहुंच गए. वहीं गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा ने मामले पर स्वतः संज्ञान लेकर एसएसपी को मामले की जांच करने का आदेश दिया है. फिलहाल विवाद के बाद प्रतियोगिता को निरस्त कर दिया गया है. बता दें कि इस्लाम के प्रचार प्रसार का यह कोई पहला मामला नहीं है. इससे पहले भी शहर के जिला कलेक्टर कार्यालय मार्ग और जिला पंचायत कार्यालय के पास कोठी रोड पर भी बच्चों को बंद पैकेट में चॉकलेट और पंपलेट बांटने का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था. 


30 सितंबर को एक दूसरा मामला सामने आया था जिसमें कुछ लोग शहर में फलैक्स और बैनर लगाकर सुबह मॉर्निंग वॉक पर आने वालों के सामने मोहम्मद साहब के बारे में प्रचार कर रहे थे. बैनर पर लिखा था कि यदि आप उन्हें जान लेंगे तो अवश्य उनसे प्रेम करेंगे. जिसका वीडियो राहगीरों ने बना लिया.


वहीं निबंध प्रतियोगिता का आयोजन करने वाली कमेटी के प्रदेश अध्यक्ष नासिर अली ने बताया कि घर बैठे इस प्रतियोगिता में हिस्सा लिया जा सकता है और सिर्फ नॉन मुस्लिम भाई बहनों के लिए इसका आयोजन किया गया है. हालांकि अभी एसएसपी के कहने पर इसका आयोजन निरस्त कर दिया गया है. इसे जल्द ही फिर से आयोजित किया जाएगा. उन्होंने बताया कि प्रतियोगिता का उद्देश्य लोगों को मोहम्मद साहब के बारे में बताना और उनके बारे में फैली भ्रामक बातों को बचाना है. 


विजेता को मिलता 21 हजार का इनाम
प्रतियोगिता में पहला पुरस्कार जीतने वाले को 21 हजार रुपए, दूसरे विजेता को 15 हजार रुपए और तीसरे विजेता को 10 हजार रुपए का इनाम दिया जाता. साथ ही कई अन्य को 1000 रुपए और 500 रुपए के इनाम मिलने थे. ऑनलाइन या ऑफलाइन रजिस्ट्रेशन के बाद लोगों को किताब मुहैया कराई जाती. इसके बाद रजिस्ट्रेशन के 20 दिनों के भीतर 5-10 पेज में निबंध लिखकर जमा करना था.