Maharashtra Political Crisis: एक तरफ अजित पवार (Ajit Pawar) और शरद पवार (Sharad Pawar) के बीच एनसीपी (NCP) को लेकर रस्साकसी जारी है दूसरी तरफ महाराष्ट्र सरकार में शामिल शिवसेना का शिंदे गुट भी तनाव में है. NCP के सरकार में शामिल होने के बाद शिंदे गुट के विधायकों को कई मंत्री पद हाथ से निकलने का डर सता रहा है, जिसके बाद शिंदे गुट के विधायकों की नाराजगी भी सामने आने लगी है. उद्धव ठाकरे से बगावत करके महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री बने एकनाथ शिंदे ने अजित पवार का अपनी सरकार में जोर-शोर से स्वागत किया था. अजित पवार को सरकार का तीसरा इंजन तक बता दिया था. लेकिन अब इसके साइड इफेक्ट्स भी नजर आने लगे हैं.


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शिंदे गुट क्यों है परेशान?


सूत्रों के मुताबिक, NCP के सरकार में अचानक प्रवेश की वजह से शिवसेना के सामने कई मसले खड़े हो गए हैं. अब जिस जगह पर विधानसभा सीट के लिए शिवसेना ने तैयारी की थी, वहां पर NCP के उम्मीदवार सामने आ गए हैं. तो ऐसी जगह पर उम्मीदवारों की काफी असंतोष बढ़ गया है. शिंदे गुट बेचैन है और उनके विधायकों ने अब खुलकर इसका इजहार करना शुरू कर दिया है. देर रात एकनाथ शिंदे के घर बैठक खत्म हुई. बैठक में शिवसेना के विधायक, सांसद और बड़े नेता शामिल हुए.


क्या सीएम बने रहेंगे शिंदे?


महाराष्ट्र बीजेपी अध्यक्ष चंद्रशेखर बावनकुले ने कहा कि राज्य में स्थिर सरकार है, जनता के विकास के लिए काम कर रही है. केंद्र और राज्य की डबल इंजर की सरकार विकास के काम कर रही है, जो एक स्थिर सरकार है. देवेंद्र फडणवीस, एकनाथ शिंदे और अजित पवार के जुड़ने से विकास की गति और तजे हो जाएगी. एकनाथ शिंदे ने साफ किया है कि वे इस्तीफा देने नहीं जा रहे हैं. इससे पहले देवेंद्र फडणवीस और दूसरे वरिष्ठ नेताओं भी साफ कर चुके हैं कि एकनाथ शिंदे ही महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री बने रहेंगे. वे अच्छा काम कर रहे हैं, ऐसे में किसी बदलाव की जरूरत नहीं है.


NCP ने बुलाई राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक


बता दें कि मुंबई के बाद शरद पवार ने आज दिल्ली में NCP की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक बुलाई है. इससे पहले शरद पवार ने बुधवार को मुंबई में NCP के वरिष्ठ नेताओं के साथ बैठक की. बैठक में शरद पवार ने बीजेपी के साथ-साथ बागियों पर भी निशाना साधा. शरद पवार ने आज नई दिल्ली में NCP की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक बुलाई है. राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक में शामिल होने के लिए आज ही शरद पवार भी दिल्ली आएंगे. वहीं, महाराष्ट्र के उप मुख्यमंत्री अजित पवार नंबर गेम में आगे नजर आ रहे हैं और शरद पवार के मुकाबले NCP विधायक उन्हें समर्थन दे रहे हैं. बुधवार को विरोधी गुटों ने अपनी ताकत दिखाने के लिए अलग-अलग बैठकें की.


चाचा पर भारी पड़ गया भतीजा!


नंबर गेम में चाचा पर आखिरकार भतीजा भारी पड़ गया. अजित पवार ने NCP के ज्यादा विधायकों को अपने साथ मिलाकर 60 सालों से ज्यादा के राजनीतिक करियर वाले शरद पवार को सबसे बड़ा झटका दिया है. इस बीच शरद पवार गुट ने अब अपने समर्थकों से शपथ पत्र लेने की शुरुआत कर दी है.


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