कोलकाता: दक्षिण कोलकाता के डायमंड हार्बर रोड पर स्थित 50 साल पुराने मांझेरहाट पुल का एक हिस्सा ढह जाने की घटना के बाद बुधवार को मलबे के नीचे एक शव मिला. इसके साथ ही, इस हादसे में मरने वालों की संख्या बढ़कर दो हो गई. दार्जिलिंग से लौटने पर घटनास्थल का दौरा करने के बाद मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने बताया कि दो लोग लापता थे और एक व्यक्ति का शव मलबे से मिला है. पुलिस ने कहा है कि जो शव मिला है, वह लापता लोगों में एक का हो सकता है.


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मेट्रो रेल परियोजना में श्रमिक के तौर पर काम करता था मृतक 
मृतक की पहचान प्रणब डे (24) के रूप में हुई है. वह मुर्शिदाबाद जिले का रहने वाला था. वह मेट्रो रेल परियोजना में श्रमिक के तौर पर काम कर रहा था. पुलिस को आशंका है कि एक अन्य लापता श्रमिक भी मलबे के नीचे दबा हो सकता है. एक अन्य मृतक की पहचान सौमेन बाग के रूप में हुई थी. बताया जा रहा है कि रेलवे ने मांझेरहाट पुल हादसा होने से पहले ही कोलकाता मेट्रोपॉलिटन डेवलपमेंट ऑथोरिटी (केएमडीए) को कमजोर बीम, बाहर निकली हुई सरिया और नींव में दरारें पड़ने को लेकर आगाह किया था. गौरतलब है कि मंगलवार को 50 साल पुराने मांझेरहाट पुल का एक हिस्सा गिरने से एक व्यक्ति की मौत हो गई, जबकि कई लोग मलबे में दबकर घायल हो गए. सियालदा-बज बज रेलवे लाइन पर मांझेरहाट रेलवे स्टेशन के ऊपर से एक पुल गुजरता है.


27 जुलाई को पत्र लिखकर दी थी जानकारी
केएमडीए को 27 जुलाई को भेजे गए एक पत्र में पूर्व रेलवे जोन के उप मुख्य अभियंता ने पुल में कई खामियां बताते हुए उसके निरीक्षण की जरूरत बताई थी. इस पत्र की एक प्रति रेलवे के वरिष्ठ उप अभियंता, सियालदा को भी भेजी गई थी. केएमडीए कोलकाता मेट्रोपॉलिटन की योजना और विकास के लिए वैधानिक प्राधिकार है और राज्य के शहरी विकास मंत्री फिरहाद हकीम बोर्ड के अध्यक्ष हैं. केएमडीए को भेजे गए पत्र की एक प्रति पीटीआई को मिली है, उसमें अभियंता ने लिखा है, पुल का भार उठाने वाले आरसीसी बीम की हालत सही नहीं है और इसे बेहद जल्दी योजनाबद्ध तरीके से बदलने की जरूरत है.


(इनपुट भाषा से)