तिरूवनंतपुरम : केरल के मुख्यमंत्री ओमन चांडी ने आज कहा कि राज्य में धर्मांतरण की स्थिति को लेकर सरकार के हस्तक्षेप की जरूरत नहीं है।


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चांडी ने विश्व हिन्दू परिषद के नेतृत्व में 21 दिसंबर को अलपुझा में चेप्पड के पास हुए अनुसूचित जाति के आठ ईसाई परिवारों के 30 लोगों के पुनर्धर्मांतरण के संबंध में सवाल का जवाब देते हुए कहा, ‘स्थिति ऐसी नहीं है कि सरकार के हस्तक्षेप की जरूरत पड़े।’


चांडी ने यहां कैबिनेट के फैसलों के बारे में जानकारी देते हुए कहा, ‘राज्य में कोई जबरन धर्मांतरण या पुनर्धर्मांतरण नहीं हुआ है और ऐसा होगा भी नहीं। अगर कोई अपनी मर्जी से कोई फैसला लेता है तो सरकार क्या कर सकती है।’ मुख्यमंत्री ने कहा कि केरल के लोग इस तरह की चीजों से दूर रहे हैं और शांति एवं सौहार्द चाहते हैं। राज्य में समाज के सभी वर्गों को समान अधिकार एवं सम्मान मिला हुआ है।