AK-203 Assault Rifle: भारत में ही बनेगी ये हल्की और दोगुनी रेंज की राइफल, 1 मिनट में दाग सकती है 600 बुलेट

AK-203 Assault Rifle in India: इंडियन आर्मी (Indian Army) की गिनती वर्ल्ड की टॉप-5 मिलिट्री में की जाती है और सरकार लगातार सेना की ताकत को बढ़ाने के प्रयास में लगी है. इसी के तहत पिछले काफी समय से एक भरोसेमंद राइफल की तलाश थी, जो अब एके-203 असॉल्ट राइफल (AK-203 Assault Rifles) के रूप में पूरी होने जा रही है. इस खतरनाक राइफल का निर्माण भारत में रूस के साथ मिलकर किया जाएगा और इसका उत्पादन इस साल के अंत तक शुरू किए जाने की उम्मीद है.

सुमित राय Oct 18, 2022, 08:42 AM IST
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रूस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने जानकारी देते हुए बताया कि भारत-रूस संयुक्त उपक्रम द्वारा उत्तर प्रदेश स्थित एक विनिर्माण केंद्र में एके-203 असॉल्ट राइफल (AK-203 Assault Rifles) का उत्पादन 2022 के अंत तक शुरू किए जाने की उम्मीद है. बता दें कि अमेठी जिले के कोरवा आयुध कारखाने में रूसी मूल की कलाश्निकोव असॉल्ट राइफल के निर्माण के लिए भारत-रूस राइफल्स प्राइवेट लिमिटेड की स्थापना 2019 में की गई थी.

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भारतीय सेना (Indian Army) लंबे समय से इंसास राइफलों (INSAS Rifles) का इस्तेमाल कर रही है और उसे एक भरोसेमंद राइफल की तलाश है. भारतीय सेना की जरूरत को अत्याधुनिक एके-203 असॉल्ट राइफल (AK-203 Assault Rifles) पूरा करेगी और इंसास राइफल को रिप्लेस करेगी. एके-203, इंसास राइफल की तुलना में ज्यादा हल्की और घातक होंगी.

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एके-203 असॉल्ट राइफल (AK-203 Assault Rifles) का वजह 3.8 किलोग्राम है और इसकी लंबाई 705 मिलीमीटर है, जबकि इंसास राइफल (INSAS Rifle) का वजन करीब 4.15 किलोग्राम होता है और उसकी लंबाई 960 मिलीमीटर होती है.

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कम वजन और कम लंबाई की वजह से एके-203 असॉल्ट राइफल (AK-203 Assault Rifles) की हैंडलिंग आसान होगी और इस राइफल को लंबे समय तक ढोया जा सकता है. वजन कम होने की वजह से जवानों को थकान कम होगी और चलाने में भी आसानी होगी.

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एके-203 असॉल्ट राइफल (AK-203 Assault Rifle) हल्की और छोटी होने के साथ ही ज्यादा घातक है. एके-203 असॉल्ट राइफल में 7.62x39mm की बुलेट्स लगती हैं और इसकी रेंज भी रेंज 800 मीटर है, जो इसे ज्यादा घातक बनाती हैं. जबकि, इंसास राइफल (INSAS Rifle) में 5.56x45mm की बुलेट्स लगती हैं और इसकी रेंज 400 मीटर है.

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एके-203 असॉल्ट राइफल (AK-203 Assault Rifle) ऑटोमैटिक मोड में चलाई जा सकती है और एक मिनट में 600 बुलेट्स ही दाग सकती है. एके-203 में 30 राउंड की बॉक्स मैगजीन लगती है और इसकी मजल वेलोसिटी 715 मीटर प्रति सेकेंड है. इंसास राइफल (INSAS Rifle) एक मिनट में 650 बुलेट दाग सकती है, लेकिन एके-203 की सटीकता ज्यादा है.

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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) ने 3 मार्च 2019 को उत्तर प्रदेश के अमेठी में एके-203 असॉल्ट राइफल (AK-203 Assault Rifles) की मैन्यूफेक्चरिंग यूनिट का शिलान्यास किया, जहां रूस के साथ मिलकर भारत AK-203 राइफलें बनाएगा.

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