Ajmer News: हिंदू धर्म से ईसाई धर्म में जाने पर रावत समाज ने अपना कड़ा रुख अपनाना शुरू कर दिया है. ऐसे परिवारों को चिन्हित कर उन पर कार्रवाई करने के लिए चेतावनी दी गई है. राजस्थान रावत महासभा की जिला इकाई द्वारा आज पूरा सर्किल की बैठक फाई सागर पाल पर रखे गए. जहां हाथी खेड़ा के साथ ही अन्य स्थानों के समाज के प्रमुख नेता मौजूद रहे. इस मौके पर धर्मांतरण को लेकर चर्चा करते हुए अज्ञानता लालच और गरीबी के चलते ईसाई धर्म अपनाने वाले लोगों से संपर्क किया गया. ऐसे 18 परिवारों को चिन्हित किया गया जिन्हें चेतावनी भी दी गई कि वह 15 दिन के भीतर अपने सनातन धर्म हिंदू धर्म में वापस घर वापसी करें अन्यथा उन पर ठोस कार्रवाई की जा सकती है.


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रावत महासभा के प्रदेश अध्यक्ष शैतान सिंह ने बताया कि हाथी खेड़ा बोराज क्षेत्र में कई ऐसे निर्धन और असहाय परिवार है. जिन्होंने अज्ञानता लोक लालच और गरीबी के कारण ईसाई धर्म को अपना लिया और वह चर्च और ईसाई समाज के कार्यक्रमों में जाने लगे हैं. ऐसे में समाज में इसे लेकर गहरा रोष पनप रहा है इन सभी परिवारों से समझाइश करने के साथ ही उन्हें 15 दिन का समय भी दिया जा रहा है. जिससे कि वह अपने मूल धर्म सनातन धर्म में वापस आ सके अगर ऐसा नहीं होता है तो फिर समाज की ओर से इस मामले में ठोस कार्रवाई की जाएगी.


उन्होंने कहा कि अगर सभी परिवार वापस अपने सनातन धर्म में आते हैं तो आगामी 19 फरवरी को एक कार्यक्रम आयोजित कर सभी की घर वापसी की जाएगी और विधि विधान से यह कार्यक्रम आयोजित किया जाएगा. ऐसे में आज सभी परिवारों को लेकर समझाइश करते हुए आगामी रणनीति बनाई गई है. वहीं इस दौरान कुछ परिवारों ने अपनी सहमति भी जाहिर की जिसके बाद उन्हें साफा पहनाकर उनका स्वागत थी इस मौके पर किया गया.


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इस ठोस कदम में जानकारी के अनुसार सभी परिवारों को गांव से बाहर निकालने की तैयारी करने के साथ ही किसी भी परिवार से समाज का कोई संबंध नहीं रहेगा जन्म मरण पर सभी कार्यक्रम का बहिष्कार किया जा सकता है. इसे लेकर जिन परिवारों ने ईसाई धर्म अपनाया है उनके सभी रिश्तेदारों को भी इसे लेकर चेतावनी देने के साथ ही उन्हें इसकी जानकारी दी जाएगी..