अलवर: ब्रजभूमि कल्याण परिषद और घुमंतू विभाग द्वारा आशियाना बचाने और जमीन प्लॉट आवंटित कर मुआवजा देने की मांग को लेकर विवेकानंद चौक से लेकर कलेक्टर कार्यालय तक रैली निकाली गई और कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा गया. ब्रजभूमि कल्याण परिषद के संयोजक पंकज गुप्ता ने बताया कि किशनगढ़ बास के गांव बंबोरा में 30 40 वर्षों से नट समाज के 50 परिवार घर बनाकर यहां रह रहे हैं. वहां पर समाज के दो मंदिर भी बने हुए हैं.


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

सरकारी राशन कार्ड, वोटर आईडी और सरकारी बोरिंग भी मौके पर मौजूद है. बिजली का कनेक्शन भी है और सभी लोग बिल्कुल बस्ती की तरह परिवार की तरह बसे हुए हैं. पिछले दिनों किशनगढ़ बास प्रशासन ने इस क्षेत्र की तारबंदी कर बस्ती के रास्ते को बंद कर दिया और सरकारी कर्मचारीयों ने नट समाज के लोगों को धमकी दी कि सब लोग अपना घर छोड़कर चले जाओ वरना घरों को तोड़ दिया जाएगा और बेघर कर दिया जाएगा. कुछ कर्मचारी इन लोगों से खाली पन्नो पर साइन करवा कर ले गए.


मामला सामने आने पर समाजसेवी और घुमंतू समाज के लिए कार्य करने वाले सामाजिक कार्यकर्ता ने मामले को संज्ञान में लिया और वहां रह रहे वासियों को विश्वास दिलाया कि क्षेत्र में उन्हें कोई भी दरबदर नहीं कर पाएगा और इसके लिए अगर सरकार आगे कोई कार्रवाई करती है तो बड़ा आंदोलन करेंगे. मौके पर काफी संख्या में बस्ती वासी लख्मीचंद रुस्तम सिंह लाखन सिंह आजाद सिंह मदन सिंह बाबूलाल सतीश आदि उपस्थित थे.


उन्होंने कहा की संभागीय आयुक्त का आदेश है कि घुमंतू समाज का व्यक्ति चाहे गाड़ी लोहार हो या बंजारा हो या नट हो यदि किसी भी ग्राम पंचायत मकान बना कर रहता है .उसे 56 वर्ग गज भूमि देनी पड़ेगी उन्होंने एडीएम सिटी को कलेक्टर के नाम ज्ञापन सौंपकर मांग की है कि मामले को तत्काल दिखवाया जाए और परिवार के आशियाने को नहीं हटाया जाए.


अपने जिले की खबरें पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें