Baran: बारां एसीबी ने बाल कल्याण समिति बारां सदस्य व कंप्यूटर ऑपरेटर के खिलाफ धारा 7 भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम 2018 व धारा 120 बी भ्रष्टाचार में मामला दर्ज किया है.


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गदरेटा सहित दो स्थानों पर काम करने वाले तीन नाबालिगों को छोड़ने के एवज में साढ़े सात हजार रुपए की रिश्वत मांगने पर मामला दर्ज किया है. एसीबी बारां एएसपी गोपाल सिंह कानावत ने बताया कि 17 नवंबर 2021 को गदरेटा निवासी सोनू कुमार ओझा ने एसीबी चौकी बारां पर एसीबी डीएसपी अनिस अहमद को शिकायत दी. उसकी वेल्डिंग की दुकान पर 3-4 महीने से मध्यप्रदेश के कोलारस निवासी छोटू धाकड़ उसके पिता की सहमति से कार्य कर रहा है.


16 नवंबर 2021 को पुलिस लिखी हुई बोलेरो से एक मैडम चार पांच जनों के साथ आई और स्वंय को पुलिसकर्मी होना बताया. वह बालक को गाड़ी में बिठाकर ले गए. उससे दस्तावेज लेकर कार्यालय बाल कल्याण समिति बारां आने को कहा. 17 नवंबर को परिवादी समिति बारां गया, तो वहां मीनाक्षी जैन सदस्य बाल कल्याण समिति मिली. जैन ने उससे लड़के को बिना कार्रवाई छोड़ने की एवज में चार हजार रुपए मांगे.


परिवादी ने एसीबी में शिकायत कर दी. एएसपी कानावत ने बताया कि उसी दिन एसीबी कांस्टेबल बबलेश को परिवादी के साथ भेजकर रिश्वत मांग का गोपनीय सत्यापन करवाया. सत्यापन में मीनाक्षी जैन की ओर से बालकों को छोड़ने की एवज में 4-4 हजार रुपए मांगने की पुष्टि हुई. एसीबी डीएसपी अनीस अहमद ने बताया कि जैन प्रत्येक दुकान से ढ़ाई-ढ़ाई हजार रुपए लेने की बात पर सहमत हो गई. उन्होंने बाल कल्याण समिति के कर्मचारी चेतन को तीनों के कुल सात हजार पांच सौ रुपए देने पर बालकों को छोड़ने के लिए कहा. जिस पर परिवादी व उक्त दोनों व्यक्तियों ने सीडब्यूसी सदस्य मीनाक्षी जैन के कहे अनुसार कुल सात हजार पांच सौ रुपए बाल कल्याण समिति के कर्मचारी चेतन को देकर बच्चों को छुड़वाया.


Reporter- Ram Mehta