Rajasthan News: जहाजपुर में पहाड़ी पर स्थित गाजी बाबा की दरगाह में महिलाओं के प्रवेश पर पिछले एक वर्ष से लगी रोक को लेकर मुस्लिम समाज की दो महिलाओं ने जहाजपुर पुलिस थाने में पहुंचकर दरगाह में महिलाओं को प्रवेश दिलाने की गुजारिश की. ये दोनों महिलाएं खादिम की पत्नियां हैं.


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महिलाओं ने अपनी शिकायत कि थी की दरगाह कमेटी के कुछ सदस्यों ने पिछले एक साल से महिलाओं के प्रवेश पर प्रतिबंध लगा रखा है. दरगाह की दीवार पर एक बोर्ड भी लगाया गया है, जिस पर लिखा है, "औरतों का अंदर जाना सख्त मना है." महिलाओं का कहना है कि यह प्रतिबंध उनके अधिकारों का हनन है और धार्मिक स्वतंत्रता पर कुठाराघात है.



जानकारी के मुताबिक यह मामला निकल कर सामने आया कि थाने में शिकायत लेकर गई दोनों ही मुस्लिम महिलाएं खादिम की पत्नियां हैं. साथ ही दरगाह पर आने वाले चढ़ावे पर या दान-पेटी में आने वाले रकम को लेकर है गाजी विकास सोसायटी से नाराज हैं क्योंकि सोसायटी दरगाह पर आने वाले चढ़ावे की रकम से वहां पर विकास कार्य करती है लेकिन कुछ खादिम इसे अपना अधिकार मानते है. मामले को लेकर खादिम उस्मान व असफाक की पत्नियां थाने शिकायत लेकर गईं जबकि अन्य मुस्लिम महिलाओं को इस मामले को लेकर कोई आपत्ति नहीं है.



दरगाह के मुख्य खादिम यूनुस मोहम्मद ने बयान दिया कि किसी महिला को दरगाह में जाने के लिए कमेटी द्वारा रोका नहीं जाता है महिलाएं दरगाह पर जाती है केवल यहां पर तख्ती लगी है.



कमेटी के सदर ने कहा बड़े आलिम, इमाम साहब ने मना किया. दरगाह कमेटी के सदर सैयद हुसैन अली ने बताया कि औरतों का अंदर जाना जायज नहीं है दरगाह परिसर में तो जा सकती है पर मुख्य स्थान में जाने की इजाजत नहीं है. औरतों को ही नहीं पुरुष भी मजार से साथ कदम दूर रहते हैं हमारे इमाम साहब भी मना करते हैं बड़े आलिम व इमाम साहब ने मना किया इसीलिए वहां लिखा हुआ है.