Bikaner News: शिशु औषध विभाग और इंडियन एकेडमी ऑफ पीडियाट्रिक्स के तत्वाधान में किशोर स्वास्थ्य जागरूकता सप्ताह शिशु औषध विभाग में मनाया जा रहा है. जिसके अंतर्गत आज किशोरियों में रक्तस्राव से संबंधित समस्याओं पर विचार विमर्श किया गया. विभाग की सह आचार्य डॉ सारिका स्वामी ने बताया कि मासिक धर्म को एक कलंक ना माना जाए बल्कि किशोरियों को इस समय में परिवार का समर्थन और इस दौरान काम आने वाली आवश्यक वस्तुएं जैसे सैनिटरी नैपकिन आसानी से उपलब्ध हो. स्कूल ,कार्यस्थल पर ऐसे समय के दौरान यदि साथियों का पूर्ण सहयोग हो और इस शारीरिक बदलाव के दौरान अगर सकारात्मक और सहयोगात्मक नजरिया रखा जाए तो किशोरियां और स्त्रियां देश के चहुंमुखी विकास में बड़ी भागीदारी निभा सकती हैं.


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पैथोलॉजी विभाग की सह आचार्य और "उड़ान" योजना की नोडल अधिकारी  डॉ. विजेता मोदी (Dr. vijeta Modi) ने राजस्थान सरकार द्वारा संचालित उड़ान योजना के बारे में विस्तृत जानकारी दी एवं महिलाओं के स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं पर अपने विचार रखे कार्यक्रम की अध्यक्षता सरदार पटेल आयुर्विज्ञान महाविद्यालय के प्रधानाचार्य डॉ गुंजन सोनी ने की साथ ही विभाग के अन्य पदाधिकारी भी उपस्थित रहे.


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कार्यक्रम में 12 से 19 वर्ष आयु वर्ग के किशोर और किशोरियों को उनके स्वास्थ्य से जुड़ी जानकारी देकर उन्हें जागरूक किया गया. चिकित्सकों ने किशोर और किशोरियों को पोषण तथा मानसिक स्वास्थ्य के साथ ही अवसाद, आत्महत्या की प्रवृति, सीखने की क्षमता, गर्भ धारण, गर्भ निरोधक साधन, गर्भपात, बाल विवाह, आदि के बारे में जानकारी दी. इसके साथ ही किशोरों को नशे से होने वाले नुकसान की भी जानकारी दी गई. 10-19 वर्ष की आयुवर्ग की किशोरियों में मासिक धर्म से जुड़ी साफ-सफाई की जानकारी दी.


Reporter- Raunak Vyas