Jaipur: जयपुर में छात्र संगठन अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद की ओर से प्रेसवार्ता का आयोजन किया गया. अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद ने बिना तैयारी के चुनावी तिथि घोषित करने के सरकार पर आरोप लगाए, साथ ही एनएसयूआई छात्र नेताओं द्वारा कैम्पस में नियमों की धज्जियां उड़ाने के आरोप लगाते हुए, राविवि में फैली अव्यवस्थाओं पर भी जमकर निशाना साधा. 


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एबीपीपी की ओर से आरोप लगाते हुए कहा गया कि सरकार के छात्रसंघ चुनाव करवाने के निर्णय का एबीवीपी स्वागत करती है लेकिन 26 अगस्त को होने वाले चुनाव में बड़ी संख्या में विद्यार्थी वोट नहीं दे पाएंगे और इतना कम समय होने के कारण छात्रनेता भी विद्यार्थियों से नहीं मिल पाएंगे यह लोकतंत्र की हत्या होगी. एबीवीपी की ओर से आरोप लगाते हुए कहा गया कि 10 अगस्त तक पीजी के एंट्रेंस टेस्ट लिए जाएंगे, आखिर में कब तक लिस्ट निकलेगी रिजल्ट आएगा एडमिशन होंगे इसलिए छात्र संघ चुनाव की तिथि को आगे बढ़ाते हुए छात्रों को रियायत दी जाए. बिना तैयारी के चुनावी तिथि घोषित करने से 50 फीसदी छात्र संघ चुनाव में वोट नहीं दे पाएंगे. 


एबीवीपी राष्ट्रीय मंत्री होश्यार मीणा ने बताया कि "अभी तक भी छात्र संघ कार्यालय खुले हुए हैं और डीएसडब्ल्यू द्वारा उन्हें खाली नहीं करवाया गया है जो दुर्भाग्यपूर्ण है. ऐसा पहली बार हुआ है कि नोटिफिकेशन आने के बाद भी छात्र संघ कार्यालय की चाबी छात्र कल्याण अधिष्ठाता ने नहीं ली है. इसके साथ ही एनएसयूआई छात्र नेताओं द्वारा कैम्पस को पोस्टर,बैनर और होर्डिंग के जरिए बदरंग किया जा रहा है लेकिन इनके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं हो रही है. कैम्पस के साथ ही संघटक कॉलेजों के हालात बिगड़ते जा रहें हैं, एबीवीपी कई बार यूनिवर्सिटी प्रशासन को चेता चुका है लेकिन अभी तक कोई कदम नहीं उठाए गए हैं. इसके साथ ही एबीवीपी द्वारा महाराजा कॉलेज की जमीन भी अधिग्रहण करने का विरोध जारी रहेगा. इन छात्र संघ चुनावों में एबीवीपी छात्रों की समस्याओं और छात्राओं की सुरक्षा के मुद्दे का साथ चुनाव लड़ेगी.


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