Jaipur: बीजेपी युवा मोर्चा (BJP Yuva Morcha) की ओर से शनिवार को बीजेपी कार्यालय से कूच कर विधानसभा घेराव किया जाएगा. इसको सफल बनाने के लिए युवा मोर्चा के साथ ही पार्टी ने पूरी ताकत झोंक दी है. विधानसभा घेराव में युवाओं के साथ, पार्टी के विभिन्न मोर्चे, पार्टी पदाधिकारी और कार्यकर्ता शामिल होंगे. बीजेपी प्रदेशाध्यक्ष सतीश पूनिया ने दावा किया कि यह कांग्रेस सरकार के खिलाफ अब तक का सबसे बड़ा प्रदर्शन होगा.


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बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनिया ने शुक्रवार को घेराव को लेकर विधानसभा के बाहर मीडिया से कहा कि राजस्थान में एक बड़ी आबादी नौजवानों की है, रोजगार की महत्वकांक्षी वाले नौजवानों की है, जो प्रतिभाशाली, मेहनती और परिश्रमी परिश्रमी भी हैं. राजस्थान में बेरोजगारी सर्वाधिक होने के बाद दूसरी बड़ी चुनौती है वह है तो पेपर लीक. दो बड़े मुद्दे यक्ष प्रश्न की तरह नौजवानों के सामने खड़े हैं. पेपर लीक और बेरोजगारी. 


इन दोनों मुद्दों पर ही सदन में कई बार बहस हुई है, सड़क पर भी अलग-अलग रूप से प्रतिकार किया है. भारतीय जनता पार्टी का युवा मोर्चा प्रदर्शन की अगुवाई करेगा, जिसमें पेपर लीक और बेरोजगारी पर विधानसभा का घेराव किया जाएगा. कोशिश की गई है कि जयपुर के 19 विधानसभा और निकट 55 विधानसभा क्षेत्रों में बड़ी संख्या में नौजवान प्रदर्शन में आएगा और पेपर लीक पर सरकार को जगाने का मांग करने का और सरकार को प्रतिकार करने का काम करेगा. 


नौजवानों की अनुशासित संख्या उसमें आएगी, जिससे मुझे लगता है कि सरकार के खिलाफ यह अब तक का सबसे बड़ा प्रदर्शन होगा. पूनियां ने कहा कि भाजपा विधायक सदन में मुखर होकर इसके लिए अपनी बात रखेंगे और बाहर पार्टी कार्यकर्ता मिलकर लड़ेंगे.


पार्टी तय करेगी ओबीसी आरक्षण पर रुख


ओबीसी आरक्षण को लेकर पूनियां ने कहा कि हम लोग पार्टी के अनुशासन और रीति नीति की मर्यादा से जुड़े हुए हैं. पार्टी के फोरम पर आरक्षण को लेकर क्या राय है, हमारी कोई चर्चा नहीं हुई है अभी. हालांकि पब्लिक डोमेन पर सामाजिक संगठनों की ओर से मांग उठती रही है, लेकिन इस मामले पर पार्टी की क्या राय है, उस पर भी चर्चा नहीं हुई है.


कानून व्यवस्था के लिए सरकार से उम्मीद बेकार


पूनियां ने कानून व्यवस्था के सवाल पर कहा कि सरकार कानून व्यवस्था के किसी एक्शन प्लान के लिए नहीं, केवल प्रयोग करती रही है. धरातल पर सरकार की मंशा कभी भी नजर नहीं आई कि कानून व्यवस्था ठीक हो. हम भरोसा कैसे करें कि जब सरकार ने राजस्थान के बजट में पुलिसिंग के लिए 3% का बजट का प्रावधान किया है. ऐसे में सरकार से क्या उम्मीद करें कि कानून व्यवस्था को ठीक करने के लिए वो पूरी तरह से प्रतिबद्धित है.


वीरांगनाओं के लिए घोषणाएं पूरी करें सरकार


वीरांगनाओं के धरने को लेकर पूनियां कहा कि जब सदन में यह चर्चा आई थी तो तकलीफ हुई कि सरकार ने किसी तरह से इसे सुनने की मंशा नहीं जताई. जब कमिटमेंट होते हैं तो हम लोग जब अंत्येष्टी में जाते हैं तो बड़ी संख्या में वहां मौजूद लोग सड़क, स्कूल और अन्य बुनियादी सुविधाओं के लिए डिमांड करते हैं. जनप्रतिनिधी की साक्षी में ये घोषणाएं होती है तो उनका क्रियान्वयन होना चाहिए.


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