Rajasthan News: आबकारी विभाग राजस्व अर्जन के लिहाज से लगातार पीछे चल रहा है. पिछले 3 सालों में विभाग अपने राजस्व लक्ष्य को पूरा नहीं कर सका है. साथ ही विभाग की बकाया राशि भी सैंकड़ों करोड़ रुपए रही है. इसे देखते हुए अब आबकारी विभाग में राज्य सरकार ने शिवप्रसाद नकाते को आयुक्त की जिम्मेदारी दी है. शिवप्रसाद नकाते काफी सख्त रुख के अफसर माने जाते हैं. 


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बकाया राजस्व को समयबद्ध पूरा करने की कोशिश
शिवप्रसाद नकाते ने अब तक 2 बैठकों में अफसरों को राज्य सरकार के बकाया राजस्व को समयबद्ध पूरा करने के लिए कहा है. इसे लेकर शुक्रवार को हुई बैठक में भी उन्होंने लिफ्टिंग के टारगेट को पूरा करने, एमनेस्टी योजना में अधिक से अधिक पुरानी बकाया को वसूलने, राजस्व लक्ष्य को पूरा करने और अवैध मदिरा के निर्माण से लेकर परिवहन और बिक्री पर पूरी तरह रोक लगाने को कहा है. उनकी सख्ती को इस बात से समझा जा सकता है कि मीटिंग में जब आयुक्त से एक जिला आबकारी अधिकारी ने कहा कि उनके अधीनस्थ उनकी सुनवाई नहीं करते तो आयुक्त ने साफ कह दिया कि ऐसे नहीं चलेगा. यदि आपकी नहीं मान रहे हैं तो आप वीआरएस ले सकते हैं. बड़ी बात यह है कि अब आबकारी आयुक्त ने मीटिंग के बाद एक ही दिन में 7 कार्मिकों को निलंबित कर दिया है.



आबकारी आयुक्त की सख्ती !
- अलवर के लक्ष्मणगढ़ में कार्यरत आबकारी निरीक्षक संजीव शर्मा निलंबित
- करौली प्रहराधिकारी शेर सिंह भायल निलंबित
- अलवर के लक्ष्मणगढ़ में प्रहराधिकारी संतोष गुर्जर निलंबित
- अलवर के राजगढ़ में प्रहराधिकारी बृजमोहन गुर्जर निलंबित
- धौलपुर के बाड़ी से प्रहराधिकारी हर स्वरूप सिंह भी निलंबित
- 2 सिपाही भी किए गए निलंबित
- अलवर पूर्व आबकारी थाने के सत्यवीर और अलवर पश्चिम के रमेश निलंबित
- अलवर DEO अर्चना जैमन की खराब परफॉर्मेंस पर मांगा जवाब
- आबकारी आयुक्त ने जारी किया कारण बताओ नोटिस
- राजगढ़ निरीक्षक नीरज शर्मा को भी दिया गया कारण बताओ नोटिस
- चाकसू निरीक्षक कीर्ति सिंह मीना को किया गया एपीओ



राजस्व में पिछड़ने वालों पर सख्ती
आबकारी आयुक्त राजस्व में पिछड़ने वाले जिलों से खासतौर पर नाराज हैं. अलवर के अलावा करौली, धौलपुर, भरतपुर आदि जिलों की खराब परफॉर्मेंस के चलते इन जिलों के अफसरों पर कार्रवाई की जा रही है. दरअसल, अभी वित्त वर्ष के 6 माह पूरे हो चुके हैं, लेकिन विभाग महज 7 हजार करोड़ के आंकड़े तक पहुंच सका है. लक्ष्य की तुलना में विभाग अभी 10 हजार करोड़ पीछे है. 




कैसी रही है आबकारी विभाग की परफॉर्मेंस
- 30 सितंबर तक आबकारी विभाग ने 80 फीसदी लक्ष्य किया पूरा
- सर्वाधिक 106 फीसदी राजस्व लक्ष्य सांचौर जिले ने पूरा किया
- जालौर का राजस्व अर्जन रहा है 98 फीसदी
- डूंगरपुर का राजस्व अर्जन भी रहा है 98 फीसदी
- DEO अलवर का राजस्व अर्जन रहा है 69 फीसदी
- धौलपुर में 71 फीसदी, करौली में 72 फीसदी है राजस्व अर्जन
- सितंबर तक के लिए कुल लक्ष्य है 8652.74 करोड़ रुपए
- सितंबर तक राजस्व अर्जन रहा है 6944.57 करोड़ रुपए



रिपोर्टर- काशीराम चौधरी


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