Jaipur News: राजस्थान के जयपुर में  अदालत ने अपने आदेश में कहा कि दुर्घटना के समय चालक सिद्धार्थ महरिया शराब के नशे में था. ऐसे में उसने बीमा पॉलिसी की शर्तो की अवहेलना की है. 


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राजस्थान के जयपुर में अदालत ने बीमा कंपनी को कहा है कि वह भुगतान और वसूली के सिद्धांत के आधार पर ऑटो चालक कैलाश के आश्रितों को 17 लाख 17 हजार 604 रुपए, जेठानंद के आश्रितों को 9 लाख 20 हजार 432 रुपए और मृतक विशनदास के आश्रितों को 31 लाख 85 हजार 388 रुपए ब्याज सहित अदा करें और फिर इस राशि की वसूली चालक सिद्धार्थ महरिया और वाहन के पंजीकृत स्वामी से करें. अदालत ने अपने आदेश में स्पष्ट किया है कि बीमा कंपनी को वसूली के लिए अदालत से मुकदमा करने की जरुरत नहीं रहेगी.


क्लेम याचिकाओं में कहा गया की एक जुलाई 2016 की रात करीब एक बजे कैलाश ऑटो में जेठानंद,विशनदास व एक अन्य अनिल सोनी को बैठाकर ले जा रहा था. सेट जेवियर स्कूल चौराहे पर तेज गति से बीएमडब्ल्यू कार ने आकर ऑटो को टक्कर मारी.जिससे अनिल सोनी के अलावा तीनों की मौत हो गई ऐसे में उन्हें क्लेम दिलाया जाए.


सुनवाई के दौरान अदालत के सामने आया की पूर्व विधायक सुभाष महरिया का बेटा सिद्धार्थ महरिया ने घटना से पहले अपने दोस्तों के साथ बीयर बार में बैठकर शराब पी थी. वहीं, घटना के समय लापरवाही से कार चलाते हुए ऑटो को टक्कर मारी.जिससे ऑटो करीब 131 फीट दूर उछल कर गिरा.


 इसके बाद कार ने वहां खडी पुलिस की पीसीआर वेन को भी टक्कर मारी, जिससे पीसीआर 11 फीट तक घिसटती हुई गई और कुछ पुलिसकर्मी भी घायल हो गए.यह टक्कर इतनी तेज थी कि कार के एयर बलून खुल गए,लेकिन कार में बैठे सिद्धार्थ और उसके तीन दोस्त चोटिल हो गए. वहीं, पुलिस को देखकर कार में बैठे कमल मीणा और दिविक सिंह भाग गए. जब पुलिस ने ब्रीथ एनालाइजर से जांच की तो सिद्धार्थ के सांस में बीएसी की मात्रा 152 एमजी मिली.


Reporter- Mahesh Pareek


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